अर्थ जगत: चीनी के दाम इस साल 40 प्रतिशत तक बढ़े और अगस्त में जीएसटी संग्रह में गिरावट
चीनी के दाम इस साल 40 प्रतिशत बढ़ गये हैं। अगस्त में सकल जीएसटी राजस्व 1,59,069 करोड़ रुपये रहा, जो जुलाई में एकत्र 1,65,105 करोड़ रुपये से 3.6 फीसदी कम है।
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अगस्त में जीएसटी संग्रह 1,59,069 करोड़ रुपये रहा, जुलाई से 3.6 प्रतिशत कम
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अगस्त में सकल जीएसटी राजस्व 1,59,069 करोड़ रुपये रहा, जो जुलाई में एकत्र 1,65,105 करोड़ रुपये से 3.6 फीसदी कम है। हालांकि, यह आंकड़ा अगस्त 2022 के जीएसटी संग्रह से 11 प्रतिशत अधिक था। पिछले साल अगस्त में कुल जीएसटी संग्रह 1,43,612 करोड़ रुपये रहा था।
अगस्त 2023 के लिए जीएसटी राजस्व के रूप में एकत्र किए गए 1,59,069 करोड़ रुपये में से सीजीएसटी 28,328 करोड़ रुपये, एसजीएसटी 35,794 करोड़ रुपये, आईजीएसटी 83,251 करोड़ रुपये (माल के आयात पर एकत्र 43,550 करोड़ रुपये सहित) और उपकर 11,695 करोड़ रुपये (वस्तुओं के आयात पर एकत्रित 1,016 करोड़ रुपये सहित) था।
पीएमआई, जीडीपी के सकारात्मक आंकड़ों से निफ्टी में तेजी
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अनुकूल वैश्विक संकेतों, घरेलू विनिर्माण पीएमआई के उम्मीद से बेहतर आंकड़ों और सकारात्मक जीडीपी वृद्धि आंकड़ों से घरेलू बाजारों में शुक्रवा को उल्लेखनीय वृद्धि देखी गई। जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने यह बात कही।
नायर ने कहा कि पीएमआई और जीडीपी के बेहतर आंकड़ों से विनिर्माण कंपनियों के शेयरों में तेजी रही। वहीं, मजबूत बिक्री आंकड़ों से ऑटो शेयरों में लिवाली बढ़ी। वैश्विक बाजारों में सकारात्मक शुरुआत ने भी निवेशकों की भावनाओं को अतिरिक्त गति प्रदान की, खासकर जब अमेरिकी मुद्रास्फीति उम्मीदों के अनुरूप रहने से विदेशों में तेजी रही।
नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) का निफ्टी गुरुवार की गिरावट से उबरते हुये शुक्रवार को 0.94 प्रतिशत या 181.5 अंक बढ़कर 19435.3 अंक पर बंद हुआ। बीएसई का सेंसेक्स 556 अंक या 0.86 प्रतिशत बढ़कर 65,387.16 अंक पर बंद हुआ।
भारत, थाईलैंड में शुष्क मौसम ने बढ़ाई चीनी की कीमत
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भारत तथा दूसरे चीन उत्पादक देशों में अल नीनो प्रभाव के कारण मौसम शुष्क रहने से वैश्विक स्तर पर चीनी के दाम इस साल 40 प्रतिशत बढ़ गये हैं। एसएंडपी जीएससीआई कृषि सूचकांक का हवाला देते हुये राबो बैंक की एक रिपोर्ट में यह बात कही गई है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि गेहूं और मक्का दोनों के वायदा भाव में उल्लेखनीय गिरावट आई है।अमेरिकी अनाज के रकबे में सात साल में सबसे बड़ी वार्षिक वृद्धि के साथ बड़े पैमाने पर ब्राजीलियाई मकई की रिकॉर्ड फसल, और काले सागर से महत्वपूर्ण गेहूं निर्यात प्रवाह की निरंतरता से कीमतों में कमी आई है और एसएंडपी जीएससीआई कृषि सूचकांक में माह दर माह आधार पर दो प्रतिशत की नरमी दर्ज की गई है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि गेहूं और मक्के के विपरीत चीनी, कोको, रोबस्टा कॉफ़ी और ऑस्ट्रेलियाई गेहूं के लिए मौसम का जोखिम अधिक बना हुआ है, क्योंकि अल नीनो का प्रभाव अधिक स्पष्ट हो गया है। भारत विशेष रूप से काफी शुष्क हो रहा है, जिससे चीनी की कीमत बढ़ रही है।
मूडीज ने 2023 के लिए भारत की जीडीपी का अनुमान बढ़ाकर 6.7 फीसदी किया
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ग्लोबल रेटिंग एजेंसी मूडीज ने 2023 के लिए भारत की विकास दर का अनुमान 5.5 फीसदी से बढ़ाकर 6.7 फीसदी कर दिया है। हालांकि, इसके साथ ही उसने 2024 के लिए सकल घरेलू उत्पाद का अनुमान 6.5 प्रतिशत से घटाकर 6.1 प्रतिशत कर दिया है।
शुक्रवार को कहा गया, "चूंकि दूसरी तिमाही का प्रदर्शन 2023 में एक उच्च आधार बनाता है, इसलिए हमने अपने 2024 के विकास पूर्वानुमान को 6.5 प्रतिशत से घटाकर 6.1 प्रतिशत कर दिया है। मजबूत अंतर्निहित आर्थिक गति को देखते हुए, हम भारत के आर्थिक विकास प्रदर्शन के लिए आगे बढ़ने के जोखिम को भी पहचानते हैं।"
2023 के लिए मूडीज का 67 प्रतिशत विकास पूर्वानुमान आरबीआई के 2023-24 के 65 प्रतिशत के अनुमान से थोड़ा अधिक है।
यूपीआई-आधारित भुगतान पहली बार दस अरब मासिक लेनदेन के पार
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नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (एनपीसीआई) के अनुसार, यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (यूपीआई) आधारित भुगतान पहली बार अगस्त में 10 अरब मासिक लेनदेन को पार कर गया। एनपीसीआई ने गुरुवार देर रात पुष्टि की कि यूपीआई पर मासिक लेनदेन संख्या 15.18 ट्रिलियन रुपये के लेनदेन मूल्य के साथ 10.24 बिलियन को पार कर गई है।
यूपीआई पर लेनदेन 50 प्रतिशत (साल-दर-साल) से अधिक बढ़ गया है और अगस्त में 6.58 बिलियन मासिक लेनदेन देखा गया। जुलाई में डिजिटल भुगतान नेटवर्क ने 9.96 अरब लेनदेन दर्ज किए थे। अक्टूबर 2019 में पहली बार यूपीआई ने 1 बिलियन मासिक लेनदेन को पार किया।
आईएएनएस के इनपुट के साथ
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