'आप कितनी भी कोशिश कर लें, नेहरू के योगदान पर दाग नहीं लगा सकते', कांग्रेस का पीएम मोदी को करारा जवाब
गौरव गोगोई का कहना था कि इससे पहले प्रधानमंत्री मोदी ने सदन में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर चर्चा के दौरान नेहरू का नाम 14 बार लिया और कांग्रेस का नाम 50 बार लिया।

लोकसभा में कांग्रेस के उप नेता गौरव गोगोई ने सोमवार को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर वंदे मातरम् पर चर्चा को राजनीतिक रंग देने का आरोप लगाया और कहा कि प्रधानमंत्री और भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के लोग जितनी भी कोशिश कर लें, पंडित जवाहरलाल नेहरू के योगदान पर दाग नहीं लगा सकते।
उन्होंने सदन में वंदे मातरम् पर चर्चा में भाग लेते हुए यह भी कहा, ‘‘बीजेपी के राजनीतिक पूर्वजों का आजादी की लड़ाई में कोई योगदान नहीं रहा।’’
गोगोई ने दावा किया कि कांग्रेस ने सबसे पहले वंदे मातरम् का उद्घोष किया था।
गोगोई का पीएम मोदी को करार जवाब
कांग्रेस सांसद ने कहा, ‘‘मैंने प्रधानमंत्री के भाषण को गौर से सुना। उनके दो उद्देश्य थे। उनका पहला उद्देश्य यह बताने का प्रयास करने का था कि आपके (सत्तापक्ष) राजनीतिक पूर्वज अंग्रेजों के खिलाफ लड़ रहे थे। उनका दूसरा उद्देश्य इस चर्चा को राजनीतिक रंग देने का था।’’
गोगोई ने कहा कि प्रधानमंत्री अपने हर वक्तव्य में कांग्रेस और नेहरू का बार-बार उल्लेख करते हैं।
गोगोई का कहना था कि इससे पहले प्रधानमंत्री मोदी ने सदन में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर चर्चा के दौरान नेहरू का नाम 14 बार लिया और कांग्रेस का नाम 50 बार लिया।
उन्होंने कहा, ‘‘आप जितनी कोशिश कर लें, आप उनके योगदान पर एक भी काला दाग लगाने में सफल नहीं होंगे।’’
'बीजेपी न तो बंगाल को समझ पाई और न ही इस राष्ट्र को समझ पाई'
कांग्रेस नेता ने ऐतिहासिक परिप्रेक्ष्य का उल्लेख करते हुए कहा, ‘‘मुस्लिम लीग यह कहना चाहती थी कि पूरे वंदे मातरम् का बहिष्कार करना चाहिए और उस समय मौलाना अबुल कलाम आजाद ने स्वयं कहा था कि उन्हें वंदे मातरम् में कोई आपत्ति नहीं है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘कांग्रेस ने अपने एक अधिवेशन में यह फैसला किया कि जहां भी कोई आयोजन होगा हम वंदे मातरम् गाएंगे।’’
गोगोई का कहना था, ‘‘इसका विरोध मुस्लिम लीग और हिंदू महासभा ने किया था तथा कांग्रेस की आलोचना की थी।’’
उन्होंने दावा किया कि बीजेपी न तो बंगाल को समझ पाई और न ही इस राष्ट्र को समझ पाई है।
पीएम मोदी ने क्या कहा?
प्रधानमंत्री मोदी ने सोमवार को लोकसभा में दावा किया कि पंडित जवाहरलाल नेहरू के कांग्रेस अध्यक्ष रहते हुए मुस्लिम लीग के दबाव में वंदे मातरम् के टुकड़े कर दिए गए।
उनके इस आरोप का कांग्रेस ने सदन में मुंहतोड़ जवाब दिया। जयराम रमेश ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर पलटवार करते हुए सोमवार को कहा कि प्रधानमंत्री को बताना चाहिए कि भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के वरिष्ठ नेताओं लालकृष्ण आडवाणी तथा जसवंत सिंह ने मोहम्मद अली जिन्ना की तारीफ की थी।
जयराम रमेश का पीएम पर पलटवार
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने ‘एक्स’ पर पोस्ट किया, ‘‘पंडित नेहरू पर तुष्टिकरण के आरोप लगाए जा रहे हैं। लेकिन क्या प्रधानमंत्री, जो इतिहास को तोड़ने-मरोड़ने में माहिर हैं, इन सवालों का जवाब देंगे?’’
उन्होंने कहा, ‘‘वह कौन-से भारतीय नेता थे जिन्होंने 1940 के दशक की शुरुआत में बंगाल में उस व्यक्ति के साथ गठबंधन सरकार बनाई थी, जिसने मार्च 1940 में लाहौर में पाकिस्तान प्रस्ताव पेश किया था? जवाब: श्यामा प्रसाद मुखर्जी।’’
पीटीआई के इनपुट के साथ