बिहार को नीतीश नापसंद हैं? 'सुशासन बाबू' की पहली वर्चुअल रैली में दिखी एक्चुअल तस्वीर

बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की ओर से सोमवार को पहली वर्चुअल रैली की गई। आंकड़ों के हिसाब से यह रैली पूरी तरह असफल कहा जा सकता है। दावा किया गया था कि इस रैली को रियल टाइम में 26 लाख लोग देखेंगे।

फोटो: सोशल मीडिया
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नवजीवन डेस्क

क्या बिहार को अब नीतीश नापसंद है? यह सवाल इसलिए उठने लगा है क्योंकि सोशल मीडिया पर उन्हें पसंद करने वालों से कई गुना ज्यादा नापसंद करने वाले लोग दिख रहे हैं। दरअसल बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की ओर से सोमवार को पहली वर्चुअल रैली की गई। आंकड़ों के हिसाब से यह रैली पूरी तरह असफल कहा जा सकता है। दावा किया गया था कि इस रैली को रियल टाइम में 26 लाख लोग देखेंगे। इसके लिए तमाम इंतजाम किए गए थे, लेकिन यह दावा सिफर ही साबित रहा। इतना ही नहीं खबर लिखे जाने तक यूट्यूब पर नीतीश की वर्चुअल रैली को एक हजार के करीब लोगों के लाइक मिले हैं। जबकि नापसंद करने वाले लोगों की संख्या 12,000 से ज्यादा हो गया है। तो क्या बिहार को नीतीश नापसंद है?

पहले तो तकनीकी दिक्कतों की वजह से इस रैली की लाइव स्ट्रीमिंग सोशल प्लेटफॉर्म पर नहीं हो पाई। नीतीश कुमार की इस वर्चुअल महारैली को कई सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर लाइव दिखाया जाना था। लेकिन तकनीकी दिक्कत की वजह से यह रैली केवल एक सोशल प्लेटफॉर्म पर लाइव हो पाया। इस पेज पर भी अधिकतम रियल टाइम 4.5K (साढ़े चार हजार) लोग ही देखते हुए पाए गए।

वहीं वर्चुअल रैली से पहले ही विधानसभा में विपक्ष के नेता तेजस्वी यादव ने मुख्यमंत्री से 10 सवाल पूछकर निशाना साधा। तेजस्वी चुनावी आहट को भांपते हुए इन दिनों मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सरकार की लगातार आलोचना कर रहे हैं। तेजस्वी ने सोमवार की सुबह एक बयान जारी कर मुख्यमंत्री से 10 सवाल पूछे।


तेजस्वी ने पूछा है कि विगत 15 साल के आपके कार्यकाल में बिहार में बेरोजगारी, गरीबी, भुखमरी और पलायन क्यों बढ़ता गया तथा बिहार में बेरोजगारी दर 46़ 6 प्रतिशत सबसे अधिक क्यों है? बिहार बेरोजगारी का मुख्य केंद्र क्यों है?

तेजस्वी ने नीतीश पर कटाक्ष करते हुए कहा, "नीतीश कुमार की विगत 1 मार्च को गांधी मैदान की 'एक्चुअल रैली' का हश्र पूरे देश ने देखा था। खैर 'वर्चुअल' के बहाने हम उन्हें एक्चुअल मुद्दों से भागने नहीं देंगे।" उन्होंने आशा व्यक्त करते हुए कहा कि सोमवार की रैली में मुख्यमंत्री इन सवालों का जवाब जरूर देंगे।

राजद नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी ने बिहार के पिछड़े रहने के कारणों पर भी सवाल करते हुए पूछा, "नीति आयोग के सारे सूचकांकों पर बिहार साल दर साल क्यों पिछड़ता चला गया? नीति आयोग की रिपोर्ट के अनुसार शिक्षा, स्वास्थ्य एवं सतत विकास सूचकांक में बिहार अंतिम पायदान पर कैसे पहुंचा? इसका दोषी कौन है?"

उन्होंने अपने प्रश्नों की फेहरिस्त में सरकार पर 58 घोटाले करने का आरोप लगाया है।

उन्होंने चुनाव के पूर्व प्रश्नों के जरिए नीतीश पर निशाना साधते हुए सवालिया लहजे में कहा कि आपके कार्यकाल में दलितों पर अत्याचार क्यों बढ़ा? उन्होंने कहा कि एनसीआरबी के अनुसार देश भर में दलितों पर सबसे ज्यादा अपराध बिहार में हुए।


तेजस्वी ने कहा कि केंद्र सरकार की सभी मानक संस्थाओं जैसे एनसीआरबी, नीति आयोग के अनुसार बिहार में शिक्षा, स्वास्थ्य और कानून व्यवस्था की स्थिति बदतर क्यों है?

उन्होंने मुख्यमंत्री पर जनादेश का अपमान करने का आरोप लगाते हुए पूछा, "वर्ष 2013, 2017 में बार-बार जनादेश का अपमान क्यों किया? व्यक्तिगत फोयदे के सिवाय बिहार को क्या फोयदा हुआ? इसकी विस्तृत जानकारी बिहार को दें।"

आईएएनएस के इनपुट के साथ

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Published: 07 Sep 2020, 2:06 PM