भारतीय मूल की सुनीता विलियम्स ने रचा इतिहास, तीसरी बार अंतरिक्ष के लिए भरी उड़ान

नासा के अंतरिक्ष यात्रियों को ले जा रहे इस स्पेस कैप्सूल के गुरुवार रात 9:45 तक ऑर्बिटिंग स्पेस लैबोरेट्रीज पर पहुंचने की संभावना है।

फोटो: सोशल मीडिया
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नवजीवन डेस्क

बोइंग स्टारलाइनर का पहला क्रू मिशन सफलतापूर्वक इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन (आईएसएस) की ओर बढ़ रहा है। इसमें भारतीय मूल की अमेरिकी अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स और बुच विल्मोर सवार हैं। नासा की ओर से गुरुवार को ये जानकारी दी गई।

नासा के अंतरिक्ष यात्रियों को ले जा रहे इस स्पेस कैप्सूल के गुरुवार रात 9:45 तक ऑर्बिटिंग स्पेस लैबोरेट्रीज पर पहुंचने की संभावना है।

अमेरिकी स्पेस एजेंसी की ओर से आगे बताया गया कि स्टारलाइनर स्पेस स्टेशन हारमोनी मॉड्यूल पर डॉक करेगा। नासा की ओर से सुनीता का चयन 1998 में अंतरिक्ष यात्री के रूप में किया गया था। अब तक वह दो बार अंतरिक्ष में जा चुकी हैं। ये तीसरी बार है, जब सुनीता अंतरिक्ष यात्रा पर गई हैं।

अमेरिकी स्पेस एजेंसी की ओर से जानकारी दी गई है कि अब तक कुल 50 घंटे और 40 मिनट के रिकॉर्ड के साथ सुनीता विलियम्स ने सबसे ज्यादा स्पेसवॉक करने के रिकॉर्ड को कायम रखा है। इससे पहले पैगी व्हिटसन ने 10 स्पेसवॉक के साथ इसे पीछे छोड़ दिया था।

सुनीता, अमेरिका की नेवी कैप्टन का भी पद संभाल चुकी हैं और उन्होंने अब तक कुल 322 दिन स्पेस में बिताए हैं।

स्टारलाइनर मिशन का मकसद नासा के भविष्य के मिशन के लिए अंतरिक्ष यात्रियों और कार्गों को पृथ्वी की निचली कक्षा में ले जाना है।

इस स्पेस फ्लाइट का उद्देश्य यह प्रमाणित भी करना है कि अंतरिक्ष यान आसानी से नियोजित तरीके से स्पेस स्टेशन तक जा सकते हैं और आ सकते हैं।

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