दुनिया की खबरें: युद्ध विराम पर बातचीत करेंगे ट्रंप और पुतिन और गाजा में हवाई हमलों में 404 लोगों की मौत
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप मंगलवार को रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ वार्ता करेंगे, ताकि वह युद्ध विराम के अमेरिका के प्रस्ताव पर सहमति प्राप्त कर सकें।

गाजा में इजराइल के हवाई हमलों में कम से कम 404 लोगों की मौत, हमास के साथ संघर्षविराम टूटा
इजराइल ने मंगलवार सुबह गाजा पट्टी क्षेत्र में हवाई हमले किए, जिसमें महिलाओं और बच्चों सहित कम से कम 404 फलस्तीनी मारे गए। यह जानकारी अस्पताल के अधिकारियों ने दी।
अचानक किये गए इस हमले की वजह से जनवरी से लागू संघर्षविराम टूट गया तथा 17 महीने से जारी युद्ध के फिर से शुरू होने का खतरा उत्पन्न हो गया है।
प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने संघर्षविराम समझौते में बदलाव की इजराइली मांग को हमास द्वारा अस्वीकार किये जाने के बाद हमले का आदेश दिया। अधिकारियों ने कहा कि हमले का दायरा बढ़ने की संभावना है।
अमेरिकी राष्ट्रपति के आधिकारिक कार्यालय एवं आवास ‘व्हाइट हाउस’ ने कहा कि हमला करने से पहले उससे सलाह ली गई है और उसने इजराइल के फैसले का समर्थन किया।
इजराइली सेना ने लोगों को पूर्वी गाजा छोड़ने और मध्य की ओर बढ़ने का आदेश दिया, जिससे संकेत मिलते हैं कि इजराइल जल्द ही नये सिरे से जमीनी स्तर पर सैन्य अभियान शुरू कर सकता है।
नेतन्याहू के कार्यालय ने कहा, ‘‘इजराइल अब सैन्य ताकत बढ़ाकर हमास के खिलाफ कार्रवाई करेगा।’’
रमजान के महीने के दौरान हुए इस हमले से वह युद्ध फिर से शुरू हो सकता है, जिसमें पहले ही हजारों फलस्तीनी मारे जा चुके हैं और गाजा में व्यापक तबाही हुई है। साथ ही, इससे हमास द्वारा बंधक बनाए गए लगभग दो दर्जन इजराइली बंधकों की स्थिति को लेकर भी सवाल उठते हैं, जिनके बारे में माना जाता है कि वे अभी भी जीवित हैं।
हमास के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि नेतन्याहू का युद्ध फिर से शुरू करने का फैसला शेष बंधकों के लिए "मौत की सजा" के बराबर है।
युद्ध विराम पर बातचीत करेंगे ट्रंप और पुतिन, जेलेंस्की को रूस की मंशा पर संदेह
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप मंगलवार को रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ वार्ता करेंगे, ताकि वह युद्ध विराम के अमेरिका के प्रस्ताव पर सहमति प्राप्त कर सकें।
ट्रंप को उम्मीद है कि इससे यूक्रेन के खिलाफ रूस के विनाशकारी युद्ध को समाप्त करने का मार्ग प्रशस्त हो सकेगा।
अमेरिकी राष्ट्रपति कार्यालय ‘व्हाइट हाउस’ युद्ध विराम समझौते को लेकर आशावादी है, हालांकि यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की को संदेह है कि पुतिन ट्रंप को दिखावटी समर्थन देने के अलावा और कुछ नहीं कर रहे हैं, जबकि रूसी सेना उनके देश पर बमबारी जारी रखे हुए है।
यह घटनाक्रम अमेरिका-रूस संबंधों में नाटकीय रूप से आए बदलाव की नवीनतम कड़ी है, क्योंकि ट्रंप ने संघर्ष को शीघ्र समाप्त करने को अपनी सर्वोच्च प्राथमिकता बना लिया है - यहां तक कि इसके लिए अमेरिका के पुराने सहयोगियों के साथ संबंधों में तनाव की कीमत भी चुकानी पड़ रही है, जो चाहते हैं कि पुतिन को आक्रमण के लिये ‘दंडित’ किया जाए।
ट्रंप ने सोमवार को संवाददाताओं से कहा, ‘‘रूस में स्थिति खराब है, यूक्रेन में भी हालात खराब हैं। यूक्रेन में जो कुछ हो रहा है, वह अच्छा नहीं है, लेकिन हम देखेंगे कि क्या हम शांति समझौता, युद्ध विराम और शांति स्थापित कर सकते हैं। और मुझे लगता है कि हम ऐसा करने में सक्षम होंगे।’’
ट्रंप-पुतिन वार्ता की तैयारी के लिए, व्हाइट हाउस के विशेष दूत स्टीव विटकॉफ ने पिछले सप्ताह मॉस्को में पुतिन से मुलाकात कर प्रस्ताव पर चर्चा की थी।
अमेरिका के विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने सऊदी अरब में वार्ता के दौरान यूक्रेन के वरिष्ठ अधिकारियों को युद्ध विराम की रूपरेखा पर सहमत होने के लिए राजी किया था।
अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा कि वाशिंगटन और मास्को ने संघर्ष को समाप्त करने के लिए एक समझौते के हिस्से के रूप में यूक्रेन और रूस के बीच “कुछ संपत्तियों को विभाजित करने” पर चर्चा शुरू कर दी है।
अपने चुनाव प्रचार अभियान के दौरान युद्ध को शीघ्र समाप्त करने का संकल्प जताने वाले ट्रंप ने कई बार पुतिन के साथ अपने संबंधों का बखान किया और रूस के अकारण आक्रमण के लिए यूक्रेन को दोषी ठहराया। इतना ही नहीं उन्होंने जेलेंस्की पर द्वितीय विश्व युद्ध के बाद यूरोप में सबसे बड़े युद्ध को अनावश्यक रूप से लंबा खींचने का आरोप लगाया।
पुतिन के प्रवक्ता दिमित्री पेसकोव ने मंगलवार को संवाददाताओं को बताया कि ट्रंप और पुतिन यूक्रेन में युद्ध पर चर्चा करेंगे। उन्होंने यह भी कहा कि अमेरिका-रूस संबंधों को सामान्य बनाने को लेकर कई सवाल अब भी बाकी हैं।
पेस्कोव ने कहा कि यह वार्ता जीएमटी (ग्रीनविच मीन टाइम) के अनुसार अपराह्न एक बजे से तीन बजे (भारतीय समयानुसार शाम साढ़े छह से रात साढ़े आठ बजे) के बीच होगी।
उन्होंने कहा कि भूखंडों और बिजली संयंत्रों पर नियंत्रण बातचीत का हिस्सा होगा।
विटकॉफ और व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव कैरोलिन लेविट ने बताया कि अमेरिकी और रूसी अधिकारियों ने दक्षिणी यूक्रेन में यूरोप के सबसे बड़े ज़ापोरिज्जिया परमाणु ऊर्जा संयंत्र के भविष्य पर चर्चा की है।
वर्ष 2022 में मास्को द्वारा यूक्रेन में सेना भेजे जाने तथा उसके कुछ समय बाद ही संयंत्र पर कब्ज़ा जमाए जाने के बाद यह संयंत्र हमले की चपेट में आ गया है। यह संयंत्र एक महत्वपूर्ण परिसंपत्ति है, जो युद्ध से पहले के वर्ष में यूक्रेन की लगभग एक चौथाई बिजली का उत्पादन करता था।
लेविट ने कहा, “मैं कह सकती हूं कि हम शांति से 10 कदम की दूरी पर हैं। और हम इस समय शांति समझौते के जितने करीब हैं, उतने पहले कभी नहीं थे। और जैसा कि आप जानते हैं, राष्ट्रपति इसे पूरा करने के लिए दृढ़ संकल्पित हैं।”
इस प्रस्तावित बातचीत को ट्रंप के लिए अमेरिकी विदेश नीति को एक नयी दिशा देने के अवसर के रूप में भी देखा जा रहा है।
इससे पहले, ट्रंप ने रविवार शाम ‘एयरफोर्स वन’ (अमेरिकी राष्ट्रपति द्वारा इस्तेमाल किया जाने वाला विमान) से फ्लोरिडा से वाशिंगटन जाते समय संवाददाताओं को पुतिन के साथ प्रस्तावित बातचीत के बारे में जानकारी दी थी। वहीं, रूसी राष्ट्रपति के कार्यालय क्रेमलिन ने सोमवार सुबह पुतिन के इस बातचीत में शामिल होने की पुष्टि की थी।
ट्रंप ने कहा था, ‘‘हम देखेंगे कि क्या हमारे पास मंगलवार तक घोषणा करने के लिए कुछ है। मैं राष्ट्रपति पुतिन से मंगलवार को बात करूंगा।’’
उन्होंने कहा, ‘‘सप्ताहांत में बहुत काम किया गया है। हम देखना चाहते हैं कि क्या हम इस युद्ध को समाप्त कर सकते हैं।’’
क्रेमलिन के प्रवक्ता दिमित्री पेसकोव ने दोनों नेताओं के मंगलवार को बात करने की योजना की सोमवार सुबह पुष्टि की, लेकिन विस्तृत जानकारी देने से यह कहते हुए इनकार कर दिया था।
यूरोपीय सहयोगी, पुतिन के प्रति ट्रंप के मित्रवत रुख तथा यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की के प्रति उनके सख्त रुख से चिंतित हैं, जिन्हें करीब दो सप्ताह पहले तब तीखी बहस का सामना करना पड़ा था, जब वह ‘ओवल ऑफिस’ (अमेरिकी राष्ट्रपति कार्यालय) पहुंचे थे।
रूस ने करीब तीन साल पहले यूक्रेन पर हमला किया था।
ट्रंप ने कहा कि युद्ध समाप्त करने के लिए भूमि और बिजली संयंत्र बातचीत का हिस्सा हैं। उन्होंने कहा, ‘‘हम जमीन के बारे में बात करेंगे। हम बिजली संयंत्रों के बारे में बात करेंगे।’’
रूस ने 2022 में यूक्रेन पर आक्रमण शुरू करने के बाद यूक्रेन के चार क्षेत्रों पर अवैध रूप से कब्जा कर लिया है। इनमें पूर्व में डोनेत्स्क और लुहान्स्क क्षेत्र तथा देश के दक्षिण-पूर्व में खेरसॉन और ज़ापोरिज्जिया क्षेत्र शामिल हैं, लेकिन चारों में से किसी पर भी उसका पूरी तरह से नियंत्रण नहीं है।
पिछले साल पुतिन ने शांति की मांगों में से एक के रूप में सभी चार क्षेत्रों से कीव के सैनिकों की वापसी को सूचीबद्ध किया था। 2014 में रूस ने यूक्रेन से क्रीमिया को भी अपने में मिला लिया था।
पाकिस्तान: इमरान खान की पार्टी ने राष्ट्रीय सुरक्षा पर महत्वपूर्ण सुरक्षा बैठक का बहिष्कार किया
पाकिस्तान के प्रमुख विपक्षी दल पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) ने देश में मौजूदा सुरक्षा स्थिति पर चर्चा के लिए मंगलवार को आहूत की गई महत्वपूर्ण सुरक्षा बैठक का बहिष्कार किया।
नेशनल असेंबली के अध्यक्ष अयाज सादिक ने प्रतिबंधित बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी (बीएलए) के विद्रोहियों द्वारा 11 मार्च को एक ट्रेन के अपहरण की घटना के बाद राष्ट्रीय सुरक्षा पर संसदीय समिति की बंद कमरे में हुई बैठक की अध्यक्षता की।
पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की पार्टी पीटीआई ने इस बैठक का बहिष्कार किया। खान वर्तमान में जेल में बंद हैं।
बीएलए ने बलूचिस्तान के बोलन क्षेत्र में ट्रेन का अपहरण कर लिया था, जिसमें लगभग 425 यात्री सवार थे।
प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ की सलाह पर बुलाई गई बैठक में प्रमुख मंत्रियों, विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं, प्रांतीय मुख्यमंत्रियों, गर्वनर और सेना प्रमुख जनरल असीम मुनीर ने भाग लिया।
सैन्य नेतृत्व ने संसदीय समिति को वर्तमान सुरक्षा स्थिति के बारे में जानकारी दी। बैठक में हुई चर्चा का विवरण तत्काल उपलब्ध नहीं है।
हालांकि, पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) ने सरकार के निमंत्रण के बावजूद बैठक में शामिल होने से इनकार कर दिया क्योंकि पार्टी ने बैठक से पहले 72 वर्षीय खान के साथ बैठक की मांग की थी। सरकार ने मांग स्वीकार नहीं की।
पीटीआई के नेतृत्व वाले विपक्षी गठबंधन तहरीक तहफ्फुज-ए-आयीन पाकिस्तान (टीटीएपी) ने भी बैठक से दूरी बनायी। टीटीएपी प्रमुख महमूद खान अचकजई ने एक संवाददाता सम्मेलन में मांग की कि खान को बैठक में आमंत्रित किया जाए।
उन्होंने कहा, ‘‘पीटीआई संस्थापक को भी आमंत्रित किया जाना चाहिए क्योंकि उनके बिना किसी भी बैठक का कोई महत्व नहीं होगा।’’
अचकजई, जातीय पश्तूनख्वा मिल्ली अवामी पार्टी (पीकेएमएपी) के भी प्रमुख हैं। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय सुरक्षा पर किसी भी बैठक में हर राजनीतिक दल के प्रतिनिधियों को आमंत्रित किया जाना चाहिए।
उन्होंने कहा, ‘‘पाकिस्तान की विकट परिस्थितियों के लिए संसद के संयुक्त सत्र की आवश्यकता है। सभी को संयुक्त सत्र में बोलने का मौका मिलना चाहिए।’’
जाफर एक्सप्रेस ट्रेन अपहरण और नुश्की में सुरक्षाबलों के कारवां पर हमले के अलावा, पिछले हफ्ते खैबर-पख्तूनख्वा (केपी) प्रांत में विद्रोहियों ने कई हमलों में पुलिस और अन्य सुरक्षा संगठनों को निशाना बनाया।
खैबर-पख्तूनख्वा और बलूचिस्तान के दो प्रांतों में सुरक्षा स्थिति अस्थिर है, जहां तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (टीटीपी) और बीएलए से जुड़े उग्रवादियों ने सुरक्षा कर्मियों और नागरिकों पर हमले किये हैं।
लापता भारतीय छात्रा सुदीक्षा कोनांकी के माता-पिता ने बेटी को मृत घोषित करने का अनुरोध किया
डोमिनिकल गणराज्य में लापता हुई 20 वर्षीय भारतीय छात्रा सुदीक्षा कोनांकी के परिवार ने पुलिस से उनकी बेटी को मृत घोषित करने का अनुरोध किया है। अमेरिकी मीडिया में यह जानकारी दी गई हैं।
भारतीय मूल की अमेरिकी नागरिक कोनांकी को आखिरी बार छह मार्च को पुंटा काना शहर के रिउ रिपब्लिक रिसॉर्ट में देखा गया था।
वह डोमिनिकन गणराज्य में छुट्टियां मनाते समय लापता हो गई थी। अमेरिकी संघीय कानून प्रवर्तन एजेंसियां उसके लापता होने की जांच में कैरेबियाई देश के प्राधिकारियों के साथ मिलकर काम कर रही हैं।
काफी तलाश के बावजूद उसका शव नहीं मिला है।
‘एनबीसी न्यूज’ ने मंगलवार को डोमिनिकन रिपब्लिक नेशनल पुलिस के प्रवक्ता डिएगो पेस्क्वेरा के हवाले से कहा कि कोनांकी के परिवार ने एजेंसी को एक पत्र भेजकर उसकी मृत्यु की घोषणा करने का अनुरोध किया है।
कोनांकी परिवार से सोमवार रात टिप्पणी का अनुरोध किया गया था जिसका तत्काल कोई जवाब नहीं दिया गया।
‘सीएनएन न्यूज’ की खबर के अनुसार, जांच से जुड़े एक सूत्र ने बताया कि डोमिनिकन गणराज्य के प्राधिकारियों ने उस व्यक्ति का पासपोर्ट जब्त कर लिया है, जो कोनांकी के साथ आखिरी बार मौजूद था।
सूत्र ने बताया कि डोमिनिकन गणराज्य के अटॉर्नी जनरल येनी बेरेनिस रेनोसो ने सप्ताहांत में जोशुआ स्टीवन रीबे से छह घंटे से अधिक समय तक पूछताछ की और स्थानीय अभियोजक के साथ पूछताछ जारी रहने की उम्मीद है।
रीबे को इस मामले में संदिग्ध नहीं माना गया है और उस पर कोई गलत काम करने का आरोप नहीं लगाया गया है।
‘न्यूयॉर्क पोस्ट’ की खबर के अनुसार, कोनांकी के परिजन ने सोमवार को प्राधिकारियों को एक औपचारिक पत्र भेजा, जिसमें कहा गया किया गया कि छह मार्च की सुबह पुंटा काना समुद्र तट से गायब होने के बाद कोनांकी की कथित मौत में कोई संदिग्ध साजिश शामिल नहीं है।
सूत्रों के अनुसार उसके माता-पिता ने यह भी लिखा कि इस मामले में प्राधिकारियों द्वारा की जा रहीं जांच पर उन्हें भरोसा है।
उसके माता-पिता ने कहा कि युवती को जीवित देखने वाले अंतिम व्यक्ति रीबे ने जांचकर्ताओं के साथ सहयोग किया है।
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