दुनियाः बाइडेन ने अपने बेटे को दी माफी तो ट्रंप ने कसा तंज और पाकिस्तान में इंटरनेट की धीमी रफ्तार, भड़के यूजर्स

इजरायल की सेना ने स्वीकार किया है कि संघर्ष विराम समझौते के बावजूद उसने पिछले दो दिनों में लेबनान पर कई हमले किए हैं। पाकिस्तान के अशांत उत्तर-पश्चिमी प्रांत खैबर पख्तूनख्वा में सोमवार को खिलौना बम फटने से दो सगे भाई समेत कम से कम तीन बच्चों की मौत हो गई।

बाइडेन ने अपने बेटे को दी माफी तो ट्रंप ने कसा तंज और पाकिस्तान में इंटरनेट की धीमी रफ्तार, भड़के यूजर्स
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नवजीवन डेस्क

बाइडेन ने अपने बेटे को दी 'माफी' तो ट्रंप ने कसा तंज

अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन द्वारा अपने बेटे को दो मामलों में आधिकारिक रूप से माफी दिए जाने का मामला राजनीतिक रूप से बड़ा मुद्दा बनता जा रहा है। नव-निर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बाइडेन पर तंज कसते हुए सवाल किया कि क्या माफी में उनके वो समर्थक भी शामिल हैं जो 6 जनवरी के दंगों में भाग लेने के आरोप में जेल की सजा काट रहे हैं। रविवार रात को ट्रुथ सोशल पर एक पोस्ट में उन्होंने हंटर बाइडेन को मिली माफी को 'न्याय का दुरुपयोग' बताया। हालांकि ट्रंप ने खुद संकेत दिया था कि वे हंटर बाइडेन को माफ करने के लिए तैयार हैं 'इसके बावजूद कि वह एक बुरा लड़का है।' ट्रंप ने पूछा, "क्या जो बाइडेन द्वारा हंटर को दी गई क्षमा में जे-6 बंधक शामिल हैं, जो अब कई वर्षों से कैद में हैं।" उन्होंने 6 जनवरी, 2021 के दंगों के लिए एक संक्षिप्त शब्द, 'जे-6' का इस्तेमाल किया। बता दें ट्रंप ने एक रैली में दावा किया था कि उन्होंने 2020 का चुनाव जीता है। इसके बाद उनके कुछ समर्थकों ने कैपिटल पर हमला किया और तत्कालीन उपराष्ट्रपति माइक पेंस और कांग्रेस के सदस्यों को धमकाया, जब वे बाइडेन के चुनाव को प्रमाणित कर रहे थे। ट्रंप, हंगामे के लिए को दोषी ठहराए गए अपने समर्थकों को 'राजनीतिक कैदी' और 'बंधक' कहते रहे हैं। रिपब्लिकन नेता का दावा है कि उनके समर्थकों पर गलत तरीके से मुकदमा चलाया गया। उन्होंने ऐलान किया है कि वह उन्हें माफ कर देंगे। इससे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने अपने बेटे को टैक्स चोरी और अवैध तरीके से बंदूक रखने के मामलों में आधिकारिक रूप से माफ कर दिया। दोनों ही मामलों में हंटर को दोषी करार दिया गया था। जो बाइडेन ने एक बयान में कहा, "आज, मैंने अपने बेटे हंटर के लिए क्षमादान पर हस्ताक्षर किए हैं।" यूएस प्रेसिडेंट ने कहा, "जिस दिन से मैंने पदभार संभाला था, मैंने कहा था कि मैं न्याय विभाग के फैसले लेने में हस्तक्षेप नहीं करूंगा, और मैंने अपना वचन तब भी निभाया जब मैंने देखा कि मेरे बेटे पर अनुचित तरीके से मुकदमा चलाया जा रहा है।" उन्होंने बयान में यह भी कहा कि हंटर के साथ अलग तरीके से व्यवहार किया गया। इससे पहले जून में उन्होंने कहा था कि वह न तो अपने बेटे को माफ करेंगे और न ही उसकी सजा कम करेंगे। हंटर बाइडेन को संघीय बंदूक मामले में दोषी ठहराए जाने के लिए 12 दिसंबर को सजा सुनाई जानी थी। इसके चार दिन बाद उन्हें टैक्स मामले में सजा सुनाई जाने वाली थी। क्षमा का मतलब है कि हंटर बिडेन को अब उनके अपराधों के लिए सजा नहीं दी जाएगी।

पाकिस्तान में इंटरनेट की धीमी रफ्तार से शरीफ सरकार पर भड़के यूजर्स

पाकिस्तान में इंटरनेट की बेहद धीमी गति और बार-बार आ रही रुकावटों को लेकर जनता में आक्रोश बढ़ता जा रहा है। जनता के गुस्से का एक बड़ा कारण वो फायरवॉल हैं जो शहबाज शरीफ के नेतृत्व वाली सरकार की ओर से कथित तौर पर सोशल मीडिया पर राज्य विरोधी कंटेंटे की निगरानी के लिए स्थापित किए गए हैं। सरकार ने पिछले सप्ताह विपक्षी पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के नेतृत्व में सरकार विरोधी अभियान और विरोध प्रदर्शनों के बीच यह कदम उठाया था। इंटरनेट और डाटा कनेक्टिविटी की लगातार धीमी स्पीड ने यूजर्स के लिए सोशल मीडिया एप्लिकेशन पर मैसेज, फोटो, वीडियो या वॉयस नोट्स भेजना और प्राप्त करना लगभग असंभव बना दिया है। हालांकि, पाकिस्तान की संघीय इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी और टेलीकॉम राज्य मंत्री शाजा फतिमा ने दावा किया कि स्थिति नियंत्रण में है और इस मुद्दे को बढ़ा-चढ़ाकर पेश किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि उनका मंत्रालय पूरे देश में बिना रुकावट इंटरनेट सुनिश्चित करने के लिए 'कोई कसर नहीं छोड़ रहा है।'

फातिमा ने कहा, "सरकार आईटी और टेलीकॉम इंडस्ट्री की सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है। इस लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए, हम मौजूदा प्रणालियों को अपडेट कर रहे हैं और प्रमुख क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं, जिसमें टावर इंटेंसिटी बढ़ाना, ब्रॉडबैंड इंटरनेट पहुंच को व्यापक बनाना शामिल है।" मंत्री ने कहा, "सरकार नागरिकों के लिए सुरक्षित ऑनलाइन वातावरण सुनिश्चित करने के लिए साइबर सुरक्षा संबंधी चिंताओं से भी निपट रही है।" फातिमा ने कहा, "पाकिस्तान को रोज लाखों साइबर हमलों का सामना करना पड़ता है, जिससे आतंकवादी गतिविधियों का पता लगाना मुश्किल होता जा रहा है। किसी देश का अपनी साइबर सुरक्षा को लेकर चिंतित होने में कुछ भी विवादास्पद नहीं है। पूरी दुनिया अलग-अलग साइबर सुरक्षा तंत्रों का उपयोग करती है।"

कराची में एक आईटी पेशेवर खुर्रम अली ने कहा, "मुझे नहीं पता कि सरकार क्या सोच रही है और क्यों वह इस तथ्य से पूरी तरह अनभिज्ञ है कि फायरवॉल और इंटरनेट सुरक्षा उपाय लगाने से सभी क्षेत्रों के लोगों को भारी नुकसान हो रहा है।" खुर्रम अली ने कहा, "अंतरराष्ट्रीय ग्राहकों के साथ काम करने वाली आईटी कंपनियों से लेकर सड़क पर डिलीवरी करने वाले तक, सभी को काम और संचार को मैनेज करने में मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। इंटरनेट में रुकावट के कारण कंपनियां अपने ग्राहकों को खो रही हैं।" आईटी एक्सपर्ट्स का मानना ​​है कि इंटरनेट कनेक्शन में अनियमितता देश की अर्थव्यवस्था को नुकसान पहुंचा रही है, जिसका सीधा असर आईटी और टेलीकॉम जैसे क्षेत्रों पर पड़ रहा है।


सीजफायर के बाद भी लेबनान पर बार-बार हमले कर रहा है इजरायल

इजरायल की सेना ने स्वीकार किया कि उसने पिछले दो दिनों में लेबनान में कई हमले किए हैं। हालांकि उसने दावा किया ये हमले दरअसल हिजबुल्लाह के साथ संघर्ष विराम समझौते के उल्लंघन को रोकने की कोशिशों के तहत किए गए। सेना ने एक बयान में कहा कि उसने एक चर्च को निशाना बनाया जिसका इस्तेमाल हिजबुल्लाह के आतंकवादी कर रहे थे। इसमें कहा गया कि उग्रवादियों ने कथित तौर पर चर्च से इजरायली सैनिकों पर गोलीबारी की थी। समाचार एजेंसी सिन्हुआ ने इजराली समाचार आउटलेट वाईनेट के हवाले से यह जानकारी दी। इन कथित उग्रवादियों की पहचान इजरायली पक्ष ने हिजबुल्लाह के खियाम ग्राउंड डिफेंस, एंटी टैंक मिसाइल और आर्टिलरी इकाइयों के सदस्यों के रूप में की है।

बयान में कहा गया, "पिछले दिनों, आईडीएफ (इजरायल डिफेंस फोर्स) ने लेबनान में कई जगहों पर ऑपरेशन चलाया, ताकि युद्ध विराम समझौते का उल्लंघन करने वाले खतरों को दूर किया जा सके। आईडीएफ लेबनान में बना हुआ है और इजरायल राज्य के लिए किसी भी खतरे के खिलाफ काम कर रहा है।" इससे पहले रविवार को फ्रांसीसी राजनयिकों ने चेतावनी दी थी कि इजरायल ने कम से कम 52 अलग-अलग घटनाओं में लेबनान के साथ संघर्ष विराम समझौते का उल्लंघन किया है। फ्रांस ने चेतावनी दी कि इस तरह के उल्लंघन से इस नाजुक समझौते को नुकसान पहुंचने का खतरा है।

इजरायल और हिजबुल्लाह के बीच युद्ध विराम लेबनान में स्थानीय समयानुसार 27 नवंबर को सुबह 4 बजे (02:00 जीएमटी/सुबह 7:30 बजे भारतीय समय) लागू हुआ था। इसके साथ ही करीब 13 महीनों ने जारी इजरायल-हिजबुल्लाह संघर्ष थम गया। इससे पहले 26 नवंबर को यूएस प्रेसिडेंट जो बाइडेन ने कहा कि इजरायल और लेबनान के बीच हुए युद्ध विराम समझौते के बाद लेबनानी सेना एक बार फिर अपने क्षेत्र पर कब्जा कर लेगी। उन्होंने कहा, "अगले 60 दिनों में, इजरायल धीरे-धीरे अपनी बाकी सेना को वापस बुला लेगा - दोनों पक्षों के नागरिक जल्द ही सुरक्षित रूप से अपने समुदायों में वापस लौट सकेंगे और अपने घरों का पुनर्निर्माण शुरू कर सकेंगे।" जो बाइडेन ने अपने भाषण में गाजा में लड़ाई रुकने का भी समर्थन किया। उन्होंने कहा, "जिस तरह लेबनान के लोग सुरक्षा और समृद्धि के भविष्य के हकदार हैं, उसी तरह गाजा के लोग भी हैं। वे भी लड़ाई और विस्थापन के अंत के हकदार हैं।"

पाकिस्तान में खिलौना बम फटने से तीन बच्चों की मौत

पाकिस्तान के अशांत उत्तर-पश्चिमी प्रांत खैबर पख्तूनख्वा में सोमवार को खिलौना बम फटने से दो सगे भाई समेत कम से कम तीन बच्चों की मौत हो गई। यह घटना बन्नू के वजीर उपखंड के जानी खेल इलाके में हुई। स्थानीय सूत्रों के अनुसार, बच्चे मदरसे से घर लौट रहे थे तभी मोर्टार के खोल में विस्फोट हुआ और दो भाइयों समेत तीन छात्रों की मौत हो गई।

मोर्टार का खोल एक सुनसान इलाके में पड़ा था। बच्चों ने इसे खिलौना समझकर उठा लिया, जिससे भीषण धमाका हुआ। पूर्व में भी कई बच्चे इस तरह के ‘‘खिलौनों’’ से खेलते समय अपनी जान गंवा चुके हैं। ये ‘खिलौने’ जांच में विस्फोटक उपकरण निकले। इस तरह की घटनाएं ज्यादातर उत्तर-पश्चिमी पाकिस्तान में ही सामने आती रही हैं। सोवियत सेना द्वारा 1980 के दशक में पड़ोसी अफगानिस्तान में उनके आक्रमण का विरोध करने वाले लोगों के खिलाफ हथियार के तौर पर इस्तेमाल करने के लिए ‘‘खिलौना’’ बम गिराए गए थे।


पीएम मोदी की तरफ से राष्ट्रपति पुतिन को मिला भारत यात्रा का निमंत्रण

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तरफ से रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन को भारत यात्रा निमंत्रण मिला है। क्रेमलिन के सहायक यूरी उशाकोव ने एक ब्रीफिंग में यह जानकारी दी। स्पूतनिक इंडिया के मुताबिक यूरी उशाकोव ने कहा, "आप जानते हैं कि हमारे नेताओं के बीच साल में एक बार एक-दूसरे से मिलने का समझौता है। अब, 2025 में नई दिल्ली या भारत में किसी अन्य स्थान पर जाने की बारी हमारी है।' यूरी उशाकोव ने कहा, "इसके अलावा, मैं यह भी कहना चाहूंगा कि पीएम मोदी का निमंत्रण मिल चुका है और निश्चित रूप से इस पर सकारात्मक रूप से विचार किया जाएगा। इसलिए, संभवतः, वर्ष की शुरुआत में हम तारीखें निर्धारित करेंगे।" इससे पहले 19 नवंबर को क्रेमलिन के प्रेस सचिव दिमित्री पेसकोव ने मंगलवार को कहा कि रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन जल्द ही भारत का दौरा कर सकते हैं। रूस की प्रमुख समाचार एजेंसी आरआईए नोवोस्ती ने पेस्कोव के हवाले से कहा, "मुझे उम्मीद है कि जल्द ही, बहुत जल्द ही हम उनकी (व्लादिमीर पुतिन) यात्रा की सटीक तारीखें तय कर लेंगे। आप जानते हैं कि हमारे नेता एक-दूसरे के यहां दौरे करते रहते हैं। इसलिए, निश्चित रूप से, प्रधानमंत्री मोदी की रूस की दो यात्राओं के बाद, अब राष्ट्रपति पुतिन के भारत आने की उम्मीद है।' पेस्कोव ने कहा, "हम इसका बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं। हम इस यात्रा के लिए बहुत सावधानी से तैयारी शुरू करेंगे। हम इसे बहुत महत्व देते हैं लेकिन अभी मेरे पास कोई तारीख नहीं है।" राष्ट्रपति के प्रेस सचिव ने यह भी बताया कि रूसी राष्ट्रपति के साथ अपने संबंधों के कारण भारतीय प्रधानमंत्री यूक्रेन में चल रहे संघर्ष के बारे में प्रत्यक्ष जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। पेसकोव ने कहा, "कम से कम वह (पीएम मोदी) सीधे तौर पर (रूसी राष्ट्रपति से) जानकारी प्राप्त कर सकते हैं, यह बहुत महत्वपूर्ण है। इससे प्रधानमंत्री मोदी को स्थिति का निष्पक्ष मूल्यांकन करने का अवसर मिलता है, न कि बाहर से सूचना और प्रचार के दबाव में आने का।" भारत और रूस के बीच एतिहासिक रूप से घनिष्ठ संबंध रहे हैं। पीएम मोदी और राष्ट्रपति पुतिन नियमित रूप से मिलते रहते हैं। जुलाई में, भारतीय प्रधानमंत्री ने 22वें रूस-भारत शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए मास्को की दो दिवसीय यात्रा की। अक्टूबर में, पीएम मोदी ने ब्रिक्स समूह के शिखर सम्मेलन के लिए रूसी शहर कज़ान का दौरा किया।

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