करीब 50 दिन बाद आखिर जागी मोदी सरकार, पीएम ने 20 लाख करोड़ के पैकेज का किया ऐलान, दिया आत्मनिर्भर भारत का नारा

आर्थिक पैकेज की घोषणा करते हुए पीएम मोदी ने देश को आत्मनिर्भर भारत का नया नारा भी दिया। पीएम ने कहा कि विश्व की आज की स्थिति यही सिखाती है कि इसका एक ही उपाय है- आत्मनिर्भर भारत। इतनी बड़ी आपदा भारत के लिए एक संकेत के साथ एक संदेश और एक अवसर लेकर आई है।

फाइल फोटोः सोशल मीडिया
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नवजीवन डेस्क

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना संकट से जूझ रहे देश के विभिन्न वर्गों के लिए मंगलवार को कुल 20 लाख करोड़ के पैकेज की घोषणा की। उन्होंने कहा कि 20 लाख करोड़ रुपए का ये पैकेज, 2020 में आत्मनिर्भर भारत अभियान को एक नई गति देगा। उन्होंने कहा कि वित्त मंत्री के स्तर से इस आर्थिक पैकेज के बारे में विस्तार से जानकारी दी जाएगी।

रात आठ बजे से देश को संबोधित करते हुए पीएम ने कहा, "आज एक विशेष आर्थिक पैकेज की घोषणा करता हूं। हाल में सरकार ने कोरोना संकट से जुड़ी जो आर्थिक घोषणाएं की थीं, जो रिजर्व बैंक के फैसले थे और आज जिस आर्थिक पैकेज का ऐलान हो रहा है, उसे जोड़ दें तो ये करीब-करीब 20 लाख करोड़ रुपए का है। ये पैकेज भारत की जीडीपी का करीब-करीब 10 प्रतिशत है। इस पैकेज में लैंड, लेबर, लिक्विडिटी और लॉज सभी पर बल दिया गया है।"

पीएम ने कहा, "यह आर्थिक पैकेज हमारे कुटीर उद्योग, लघु, मंझोले उद्योग, एमएसएमई के लिए है। जो करोड़ों लोगों की आजीविका का साधन हैं। जो आत्मनिर्भर भारत के हमारे संकल्प का मजबूत आधार है। यह आर्थिक पैकेज देश के उस श्रमिक के लिए है, उस किसान के लिए है, जो हर मौसम में देशवासियों के लिए दिन-रात परिश्रम करते हैं। यह आर्थिक पैकेज हमारे देश के मध्यम वर्ग के लिए है, जो ईमानदारी से टैक्स देकर देश के विकास में योगदान देता है। यह पैकेज आर्थिक जगत के लिए है जो भारत के आर्थिक विकास को बुलंदी देते हैं।

अपने संबेधन में पीएम ने कहा कि एक्सपर्ट बताते हैं कि कोरोना लंबे समय तक जिंदगी का हिस्सा बना रहेगा। लेकिन हम अपने लक्ष्यों को दूर नहीं होने देंगे। उन्होंने कहा कि भारत ने कोरोना संकट को भी अवसर में बदल दिया है। आत्मनिर्भर भारत का हमें संकल्प लेना है। उन्होंने कहा कि भारत को कभी सोने की चिड़िया कहा जाता था। आज फिर भारत विकास की ओर सफलतापूर्वक कदम बढ़ा रहा है।

पीएम मोदी ने कहा, "एक वायरस ने दुनिया को तहस-नहस कर दिया है। विश्व भर में करोड़ों जिंदगियां संकट का सामना कर रहीं हैं। सारी दुनिया जिंदगी बचाने में एक प्रकार से जंग में जुटी है। हमने ऐसा संकट न देखा है और न ही सुना है। निश्चित तौर पर मानव जाति के लिए यह सब कुछ अकल्पनीय है। यह क्राइसिस अभूतपूर्व है। लेकिन थकना, हारना, टूटना, बिखरना मानव को मंजूर नहीं है। सतर्क रहते हुए ऐसी जंग के सभी नियमों का पालन करते हुए अब हमें बचना भी है और आगे बढ़ना भी है।"

उन्होंने कहा, "जब दुनिया संकट में है तब हमें अपना संकल्प और मजबूत करना है। हमारा संकल्प इस संकट से भी विराट होगा। साथियों हम पिछली शताब्दी से भी लगातार सुनते आए हैं कि 21 वीं सदी हिंदुस्तान की सदी है। हमें वैश्विक व्यवस्थाओं को विस्तार से देखने का मौका मिला है। कोरोना संकट के बाद भी दुनिया में जो स्थितियां बन रहीं हैं, उसे भी हम निरंतर देख रहे हैं। जब दोनों काल खंडों को भारत के नजरिए से देखते हैं तो लगता है कि 21 वीं सदी भारत की हो, यह हमारा सपना ही नहीं हम सभी की जिम्मेदारी भी है।"

पीएम मोदी ने कहा कि विश्व की आज की स्थिति यह सिखाती है कि इसका मार्ग एक ही है आत्मनिर्भर भारत। साथियों एक राष्ट्र के रूप में हम एक अहम मोड़ पर खड़े हैं। इतनी बड़ी आपदा भारत के लिए एक संकेत लेकर आई है। एक संदेश लेकर आई है। एक अवसर लेकर आई है।

(आईएएनएस के इनपुट के साथ)

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Published: 12 May 2020, 10:17 PM