कोरोना पर जीएसटी के मंत्री समूह में कांग्रेस शासित राज्यों को जगह नहीं, भूपेश बघेल ने केंद्र पर उठाया सवाल

जीएसटी परिषद ने कोरोना संबंधित आवश्यक वस्तुओं को कर छूट देने पर फैसले के लिए मंत्रियों के आठ सदस्यीय पैनल का गठन किया है, जिसमें कांग्रेस समेत विपक्ष शासित राज्यों के किसी भी सदस्य को शामिल नहीं किया गया है। इसी को लेकर नया विवाद खड़ा हो गया है।

फोटोः सोशल मीडिया
फोटोः सोशल मीडिया
user

नवजीवन डेस्क

छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने मंगलवार को कोरोनो वायरस से संबंधित आवश्यक वस्तुओं के लिए कर छूट पर निर्णय लेने के लिए जीएसटी परिषद द्वारा गठित मंत्रियों के एक समूह में कांग्रेस शासित राज्यों के सदस्यों को शामिल नहीं किये जाने की निंदा करते हुए इस पैनल को 'सहकारी संघवाद की भावना के खिलाफ' बताया है। उन्होंने कांग्रेस शासित राज्यों के मंत्रियों को, जो जीएसटी परिषद का हिस्सा हैं, कोविड राहत सामग्री पर जीएसटी दरों पर चर्चा करने के लिए गठित मंत्री समूह में शामिल किए जाने की मांग की।

इसी मुद्दे को लेकर राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने भी अपना विरोध जताया है। उन्होंने कोरोना संबंधी आवश्यक उपकरणों पर कर छूट के लिए जीएसटी परिषद के मंत्री समूह में कांग्रेस समेत अन्य विपक्षी दलों द्वारा शासित राज्यों के मंत्रियों को जगह नहीं देने का मुद्दा उठाया है। सीएम गहलोत ने कई ट्वीट कर कहा कि जीएसटी परिषद में केवल बीजेपी के अधिक सदस्य हैं। कांग्रेस सदस्यों को बाहर रखना सबसे दुर्भाग्यपूर्ण है और सहकारी संघवाद की जड़ों पर प्रहार करता है।

छत्तीसगढ़ सीएम भूपेश बघेल ने कहा, "वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) परिषद ने कोरोना से संबंधित आवश्यक वस्तुओं पर कर में छूट देने पर फैसले के लिए मंत्रियों के आठ सदस्यीय पैनल का गठन किया है, जिसमें कांग्रेस शासित राज्यों के किसी भी सदस्य को शामिल नहीं किया गया है। कांग्रेस शासित राज्यों के किसी भी सदस्य को शामिल नहीं करना दुर्भाग्यपूर्ण है और सहकारी संघवाद की भावना के खिलाफ है।"


उन्होंने बताया कि पिछले कुछ दिनों से कांग्रेस लगातार सभी स्तरों पर कोरोना महामारी से प्रभावी ढंग से निपटने के लिए टीकों, दवाओं और अन्य उपकरणों पर जीएसटी छूट की मांग कर रही है। जीएसटी परिषद की बैठक में भी कांग्रेस शासित राज्यों ने इस संबंध में जीएसटी में 5 फीसदी की जगह 0.1 फीसदी की छूट देने का प्रस्ताव रखा था। जब सहमति नहीं बनी तो मामले को देखने के लिए जीएसटी परिषद के अध्यक्ष द्वारा आठ सदस्यीय समिति का गठन किया गया। बघेल ने दावा किया कि कांग्रेस शासित राज्य के एक भी मंत्री को 'जानबूझकर' समिति में सदस्य नहीं बनाया गया है, ताकि इस मांग पर विचार नहीं किया जा सके।

Google न्यूज़नवजीवन फेसबुक पेज और नवजीवन ट्विटर हैंडल पर जुड़ें

प्रिय पाठकों हमारे टेलीग्राम (Telegram) चैनल से जुड़िए और पल-पल की ताज़ा खबरें पाइए, यहां क्लिक करें @navjivanindia


Published: 01 Jun 2021, 7:09 PM