बिहारः JDU के नरेंद्र नारायण यादव बने प्रोटेम स्पीकर, नवनिर्वाचित विधायकों को दिलाएंगे शपथ

‘प्रोटेम स्पीकर’ वह अस्थायी अध्यक्ष होता है जिसे नयी विधानसभा के गठन के तुरंत बाद सीमित और प्रारंभिक कार्यों के लिए नियुक्त किया जाता है जिसका मुख्य कार्य नवनिर्वाचित विधायकों को शपथ दिलाना, स्थायी अध्यक्ष के चुनाव की प्रक्रिया का संचालन करना है।

बिहारः JDU के नरेंद्र नारायण यादव बने प्रोटेम स्पीकर, नवनिर्वाचित विधायकों को दिलाएंगे शपथ
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नवजीवन डेस्क

बिहार में सरकार गठन के बाद अब नवनिर्वाचित विधायकों के शपथ ग्रहण की प्रक्रिया शुरू हो गई है। इसी के तहत जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) के विधायक नरेंद्र नारायण यादव को बिहार विधानसभा का प्रोटेम स्पीकर नियुक्त किया गया है। बिहार के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने सोमवार को नरेंद्र नारायण यादव को विधानसभा के प्रोटेम स्पीकर पद की शपथ दिलाई। प्रोटेम स्पीकर नियुक्त होने के बाद नरेंद्र नारायण यादव विधानमंडल के सत्र में नवनिर्वाचित विधायकों को पद और गोपनीयता की शपथ दिलाएंगे।

आधिकारिक बयान के अनुसार, ‘प्रोटेम स्पीकर’ के रूप में यादव अब नयी विधानसभा के सभी 243 विधायकों को शपथ दिलाएंगे और आगामी विधानसभा कार्यवाही की रूपरेखा तय करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे। ‘प्रोटेम स्पीकर’ वह अस्थायी अध्यक्ष होता है जिसे नयी विधानसभा के गठन के तुरंत बाद सीमित और प्रारंभिक कार्यों के लिए नियुक्त किया जाता है जिसका मुख्य कार्य नवनिर्वाचित विधायकों को शपथ दिलाना, स्थायी अध्यक्ष के चुनाव की प्रक्रिया का संचालन करना है।


जेडीयू के वरिष्ठ नेता नरेंद्र नारायण यादव मधेपुरा जिले की आलमगंज विधानसभा सीट से लगातार आठवीं बार विधायक चुने गए हैं। वे जेडीयू के वरिष्ठ नेता हैं। इस चुनाव में उन्होंने विकासशील इंसान पार्टी (वीआईपी) के नबीन कुमार को 55 हजार 465 वोटों से हराया। नरेंद्र नारायण यादव को 1 लाख 38 हजार 401 वोट मिले, जबकि नबीन कुमार ने 82 हजार 936 वोट प्राप्त किए। इस सीट पर जन सुराज के सुबोध कुमार सुमन तीसरे नंबर पर रहे।

नरेंद्र नारायण यादव की छवि एक शांत स्वभाव वाले नेता की रही है। नरेंद्र नारायण यादव जयप्रकाश नारायण आंदोलन के दौरान सक्रिय रहे और 1995 में पहली बार आलमनगर सीट से चुनाव जीतकर विधानसभा पहुंचे। तब से वह लगातार आठ बार इस सीट से चुनाव जीतते आ रहे हैं। यादव बिहार सरकार में मंत्री और विधानसभा उपाध्यक्ष के रूप में भी कार्य कर चुके हैं। उनकी सादगीपूर्ण छवि और मजबूत जनाधार ने उन्हें जेडीयू के प्रभावशाली नेताओं में शामिल किया है। पार्टी सूत्रों के मुताबिक, ‘प्रोटेम स्पीकर’ के लिए उनके नाम पर विचार करते समय उनकी वरिष्ठता, अनुभव और सतत राजनीतिक सक्रियता को प्रमुख आधार माना गया।


बता दें कि बिहार विधानसभा चुनाव में इस बार एनडीए ने 202 सीटों पर जीत दर्ज की। बीजेपी ने 89 सीटें हासिल कीं, जबकि दूसरे नंबर पर नीतीश कुमार की जनता दल (यूनाइटेड) 85 सीटों के साथ है। वहीं, चिराग पासवान की पार्टी लोक जनशक्ति (आर) ने 19 पर जीत दर्ज की, जो एनडीए में तीसरे नंबर की सबसे बड़ी पार्टी और पूरे बिहार में चौथे नंबर की पार्टी रही। जीतन राम मांझी की हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा को पांच और राष्ट्रीय लोक मोर्चा को चार सीटों पर जीत मिली है। बताया जाता है कि बीजेपी ने इस बार भी विधानसभा अध्यक्ष की कुर्सी पर अपनी दावेदारी पेश की है। इससे पहले भी बीजेपी के नन्द किशोर यादव विधानसभा अध्यक्ष बने थे।

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