धर्म के आधार पर लोगों को बांटता है CAA, छात्रों पर हमले की घटनाओं की हो जांच : सोनिया गांधी

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने संशोधित नागरिकता कानून (CAA) के खिलाफ विरोध प्रदर्शनों और देश की अर्थव्यवस्था को लेकर शनिवार को केंद्र की मोदी सरकार पर जोरदार हमला किया। कांग्रेस कार्यसमिति (CWC) ने शनिवार को चार मुद्दों पर प्रस्ताव पास किया।

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नवजीवन डेस्क

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने संशोधित नागरिकता कानून (CAA) के खिलाफ विरोध प्रदर्शनों और देश की अर्थव्यवस्था को लेकर शनिवार को केंद्र की मोदी सरकार पर जोरदार हमला किया। कांग्रेस कार्यसमिति (CWC) ने शनिवार को चार मुद्दों पर प्रस्ताव पास किया। कांग्रेस ने संशोधित नागरिकता कानून, राष्ट्रीय नागरिकता पंजी (NRC) के विरोध को दबाने की सरकार की कोशिशों के खिलाफ प्रस्ताव पारित किया है। इसके अलावा देश की बिगड़ती आर्थिक स्थिति, जम्मू-कश्मीर में सरकार की पाबंदी के छह महीने पूरे होने और खाड़ी में ईरान और अमेरिका के बीच विवाद की वजह से बन रहे हालात को लेकर प्रस्ताव पारित किया गया है।

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने कहा कि जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी (JNU) और अन्य स्थानों पर युवाओं एवं छात्रों पर हमले की घटनाओं के लिए उच्च स्तरीय आयोग का गठन किया जाना चाहिए। कांग्रेस कार्य समिति की बैठक में सोनिया गांधी ने कहा कि '' नए साल की शुरुआत संघर्षों, अधिनायकवाद, आर्थिक समस्याओं, अपराध से हुई है।'' उन्होंने सीएए को भेदभावपूर्ण और विभाजनकारी कानून करार देते हुए दावा किया कि इसका मकसद भारत के लोगों को धार्मिक आधार पर बांटना है।


कांग्रेस अध्यक्ष ने संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) के खिलाफ प्रदर्शनों और अर्थव्यवस्था की स्थिति को लेकर सरकार पर तीखा हमला बोला और कहा कि जेएनयू और अन्य जगहों पर युवाओं और छात्रों पर हमले की घटनाओं के लिए उच्च स्तरीय आयोग के गठन किया जाना चाहिए। सोनिया ने कहा कि जेएनयू, जामिया मिल्लिया इस्लामिया और कुछ दूसरे जगहों पर युवाओं और छात्रों पर हमले की घटनाओं की जांच के लिए विशेषाधिकार आयोग का गठन किया जाए।

कांग्रेस कार्य समिति (सीडब्ल्यूसी) की इस बैठक में कांग्रेस के कई वरिष्ठ नेता शामिल हुए। इसमें मनमोहन सिंह, ज्योतिरादित्य सिंधिया और मल्लिकार्जुन खड़गे समेत कई वरिष्ठ नेता शामिल हुए।इस बैठक में देश में बढ़ते तनाव, गंभीर आर्थिक स्थिति और कई दूसरे मुद्दों पर चर्चा हुई।

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