कांग्रेस के ‘न्याय’ की आलोचना पर चुनाव आयोग ने नीति आयोग उपाध्यक्ष राजीव कुमार से मांगी सफाई

कांग्रेस की गरीब परिवारों को 72000 रुपये देने की योजना की आलोचना करने के लिए चुनाव आयोग ने नीति आयोग के उपाध्यक्ष से सफाई मांगी है। किसी सरकारी पद पर रहते हुए राजनीतिक टिप्पणी के लिए आयोग ने राजीव कुमार को नोटिस भेजकर प्रतिक्रिया के संबंध में स्पष्टीकरण देने को कहा है।

Photo : Getty Images
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नवजीवन डेस्क

चुनाव आयोग ने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांंधी द्वारा घोषित न्यूनतम आय योजना यानी ‘न्याय’ की आलोचना पर नीति आयोग के उपाध्यक्ष राजीव कुमार को नोटिस जारी किया है। चुनाव आयोग ने एक नोटिस भेजकर राजीव कुमार से इस बारे में सफाई मांगी है। राजीव कुमार ने राहुल गांधी के ऐलान के बाद कहा था था कि कांग्रेस पार्टी “चुनाव जीतने के लिए कुछ भी कह और कर सकती है।”

राजीव कुमार ने अपने अधिकारिक ट्विटर हैंडल पर लिखाा था कि कांग्रेस अध्यक्ष की प्रस्‍तावित न्‍यूनतम आय योजना (न्याय) से राजकोषीय घाटा बढ़ेगा। उन्होंने कहा था कि चुनावों में जीत के लिए यह पहले भी वादे करते रहे हैं।

राजीव कुमार ने एक और ट्वीट में कहा था कि न्याय योजना पर जीडीपी का 2 फीसदी पैसा खर्च होगा और बजट का 13 फीसदी। इससे वास्तविक जरूरतों वाले लोगों की आवश्यकताएं पूरी नहीं होंगी।

नीति आयोग उपाध्यक्ष ने इसके बाद फिर एक अखबार में प्रकाशित खबर को शेयर करते हुए कहा था कि प्रस्तावित योजना आर्थिक, वित्तीय अनुशासन और क्रियान्वयन के परीक्षण पास नहीं कर सकी है।

इन्हीं सब टिप्पणियों पर चुनाव आयोग ने राजीव कुमार से सफाई मांगी है। गौरतलब है कि
चुनाव आचार संहिता के तहत सत्‍ताधारी पार्टी के पक्ष में “सरकारी गाड़‍ियों, मशीनरी और कर्मचारियों के इस्‍तेमाल” पर पाबंदी होती है।

10 मार्च को लोकसभा चुनाव के ऐलान के साथ ही आचार संहिता लागू हो गई। इसका मकसद चुनाव के दौरान सभी राजनैतिक दलों और उम्‍मीदवारों के लिए एक-समान व्‍यवस्‍था लागू करना है।

राजीव कुमार के बयान को बीजेपी को फायदा पहुंचाने की कोशिश के रूप में देखा जा रहा है। उनसे जवाब मांगा गया है।” कुमार को जवाब देने के लिए दो दिन का वक्‍त दिया गया है।

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