मध्य प्रदेश के इंदौर में 'दूषित पानी' पीने से 30 से ज्यादा लोग बीमार, 80 साल के व्यक्ति की मौत
भागीरथपुरा के लोगों का कहना है कि वे नगर निगम के नल कनेक्शन के जरिये घर-घर पहुंचने वाला नर्मदा नदी का दूषित पानी पीने से बीमार हुए।

देश के सबसे स्वच्छ शहर इंदौर में कथित तौर पर दूषित पानी पीने के कारण 30 से ज्यादा लोग बीमार हो गए। अधिकारियों ने मंगलवार को यह जानकारी दी। क्षेत्रीय पार्षद के मुताबिक, बीमार लोगों में शामिल 80 वर्षीय व्यक्ति की एक अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई।
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी (सीएमएचओ) डॉ. माधव प्रसाद हासानी ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि शहर के भागीरथपुरा क्षेत्र के कम से कम 32 लोग अलग-अलग अस्पतालों में भर्ती हैं।
उन्होंने बताया,‘‘मरीजों का कहना है कि दूषित पानी पीने के बाद उन्हें उल्टी-दस्त और शरीर में पानी की कमी की दिक्कतें शुरू हो गईं।’’
हासानी ने बताया कि भागीरथपुरा क्षेत्र से पेयजल के नमूने लिए गए हैं जिनकी जांच रिपोर्ट 48 घंटे के भीतर आएगी। इस बीच, सूबे के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने स्थानीय प्रशासन को निर्देश दिए हैं कि सभी मरीजों को त्वरित और गुणवत्तापूर्ण उपचार प्रदान किया जाए।
भागीरथपुरा के लोगों का कहना है कि वे नगर निगम के नल कनेक्शन के जरिये घर-घर पहुंचने वाला नर्मदा नदी का दूषित पानी पीने से बीमार हुए।
क्षेत्रीय पार्षद कमल बाघेला ने कहा,‘‘लोगों का कहना है कि पिछले बृहस्पतिवार (25 दिसंबर) को जिस पानी की आपूर्ति की गई थी, उससे अलग तरह की गंध आ रही थी। शायद लोग यही पानी पीने से बीमार पड़े हैं। नमूनों की जांच रिपोर्ट आने के बाद ही पता चल सकेगा कि पानी दूषित कैसे हुआ।’’
कथित तौर पर दूषित पानी पीने से लोगों की मौत के बारे में पूछे जाने पर पार्षद ने कहा,‘‘हमें मिली अधिकृत जानकारी के मुताबिक एक निजी अस्पताल में भर्ती नंदलाल पाल (80) की मौत हो गई।’’
पाल के बेटे सिद्धार्थ ने बताया कि उनके पिता को कथित तौर पर दूषित पानी के कारण उल्टी-दस्त की समस्या के बाद 28 दिसंबर को इस अस्पताल में भर्ती कराया गया था। उन्होंने बताया,"मेरे पिता की मंगलवार सुबह मौत हो गई।"
स्थानीय लोगों ने दावा किया कि दूषित पानी पीने से बीमार दो महिलाओं की भी मौत हो गई। हालांकि, प्रशासन ने दूषित पानी के कारण अब तक किसी भी मरीज की मौत की पुष्टि नहीं की है।
भागीरथपुरा क्षेत्र के निवासी जितेंद्र प्रजापत ने कहा कि कथित तौर पर दूषित पानी के कारण उल्टी-दस्त से पीड़ित उनकी बड़ी बहन सीमा प्रजापत (50) ने सोमवार को दम तोड़ दिया।
उन्होंने बताया,‘‘मेरी बहन को अचानक उल्टी-दस्त की समस्या हुई और हमें उसे संभालने का मौका तक नहीं मिला। अस्पताल ले जाते वक्त रास्ते में उसकी मौत हो गई।’’
प्रजापत ने कहा कि भागीरथपुरा क्षेत्र में पिछले कुछ दिनों से जिस पानी की आपूर्ति की जा रही थी, वह पीते वक्त ‘कड़वा’ लग रहा था और लोगों को आशंका है कि ज्यादा मात्रा में कोई जलशोधक रसायन मिलाए जाने से पानी का स्वाद बदल गया था।
भागीरथपुरा क्षेत्र में रहने वाली चंद्रकला यादव ने कहा कि उनकी सास उर्मिला यादव (70) को 27 दिसंबर (शनिवार) को कथित तौर पर दूषित पानी के कारण उल्टी-दस्त की समस्या शुरू हुई और एक अस्पताल में इलाज के दौरान 28 दिसंबर (रविवार) को उनकी मौत हो गई।
इंदौर, अपनी पानी की जरूरतों के लिए नर्मदा नदी पर निर्भर है। नगर निगम की बिछाई पाइपलाइन के जरिये नर्मदा नदी के पानी को पड़ोसी खरगोन जिले के जलूद से 80 किलोमीटर दूर इंदौर लाकर घर-घर पहुंचाया जाता है।
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