नाना पटोले ने महाराष्ट्र विधानसभा में उठाया 'हनी ट्रैप' का मुद्दा, वरिष्ठ अफसरों के इसमें फंसने पर मांगा जवाब
पटोले ने कहा कि कुछ लोग हनीट्रैप के जरिए राज्य के गोपनीय दस्तावेज हासिल कर रहे हैं। मामले में राज्य के वरिष्ठ अधिकारी, आईएएस और कुछ मंत्री भी शामिल हैं। अगर गोपनीय दस्तावेज असामाजिक संगठनों को मिल गए, तो राज्य समेत पूरी व्यवस्था को बहुत बड़ा नुकसान होगा।

महाराष्ट्र कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष और विधायक नाना पटोले ने बुधवार को विधानसभा में हनी ट्रैप का मामला उठाया। उन्होंने कई वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के इसकी चपेट में आने पर चिंता जताते हुए सरकार से इस पर जवाब की मांग की। उन्होंने कहा कि अगर राज्य सरकार हनीट्रैप में शामिल मंत्रियों, पूर्व मंत्रियों और मौजूदा अधिकारियों के नाम विधानसभा में पेश नहीं करती है, तो वह विधानसभा में उनके नाम सामने लाएंगे।
दरअसल, राज्य के कई उच्च पदस्थ अधिकारियों को हनीट्रैप में फंसाकर उनसे रंगदारी वसूलने की घटना ने महाराष्ट्र के प्रशासनिक हलकों में हलचल मचा दी है। महाराष्ट्र कांग्रेस नेता और विधायक नाना पटोले ने विधानसभा में यह मुद्दा उठाया। उन्होंने सरकार से स्पष्टीकरण भी मांगा। इस पर विधानसभा अध्यक्ष ने सरकार को मामले का उचित संज्ञान लेने का निर्देश दिया।
नाना पटोले ने कहा, "राज्य में एक बहुत ही महत्वपूर्ण मामला सामने आ रहा है। कुछ लोग हनीट्रैप के जरिए हमारे राज्य के गोपनीय दस्तावेज हासिल कर रहे हैं। चर्चा है कि इस मामले में राज्य के वरिष्ठ अधिकारी, आईएएस अधिकारी और कुछ मंत्री भी शामिल हैं। राज्य के गोपनीय दस्तावेज के लिए एक हनीट्रैप बिछाया गया है, जिसमें वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल हैं।
पटोले ने कहा कि मैं इस महत्वपूर्ण मामले को सदन के संज्ञान में लाना अपना कर्तव्य समझता हूं। अगर इस हनीट्रैप के जरिए गोपनीय दस्तावेज असामाजिक संगठनों के पास पहुंच गए, तो राज्य समेत पूरी व्यवस्था को बहुत बड़ा नुकसान होगा।" नाना पटोले ने इस मामले में शामिल अधिकारियों के नाम सामने लाने की चेतावनी दी। उन्होंने कहा कि अगर राज्य सरकार हनीट्रैप में शामिल मंत्रियों, पूर्व मंत्रियों और मौजूदा अधिकारियों के नाम विधानसभा में पेश नहीं करती है, तो वह विधानसभा में उनके नाम सामने लाएंगे।
नाना पटोले ने विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर को संबोधित करते हुए कहा, "इस मामले में राज्य में क्या चल रहा है? सरकार को सदन के सामने तथ्य स्पष्ट करने चाहिए। आप यहां हमारे संरक्षक हैं। आपको सरकार से यह जानकारी मांगकर सदन को सूचित करना चाहिए।" इस पर स्पीकर ने सरकार को इस पर उचित संज्ञान लेने का निर्देश दिया।
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