जिनके नेताओं ने जिन्ना के मजार पर सिर झुकाया, जो बिना बुलाए पाकिस्तान चले गए, उनसे नहीं सीखना हिंदुत्व- उद्धव

शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने दशहरा रैली में पार्टी के बागियों के साथ ही बीजेपी पर भी जमकर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि ऐसी पार्टी हमें क्या हिंदुत्व सिखाएगी जिसके नेता जिन्ना की मजार पर सिर झुकाते हों और बिना बुलाए पाकिस्तान जाकर बर्थडे केक खाते हों।

फोटो - सोशल मीडिया
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नवजीवन डेस्क

"हर साल रावण का दहन होता है, इस बार रावण अलग है। यह दसमुखी रावण अब 50 खोके का ‘खोकासुर’ और ‘धोकासुर’ बन गया है। जिस तरह महिषासुर मर्दनी ने महिषासुर को मारा, उसी तरह ‘खोकासुर’ का भी नाश करेंगी।" शिवसेना नेता उद्धव ठाकरे ने इन जैसे तमाम शब्दों का इस्तेमाल कर एकनाथ शिंदे और उनके साथियों की 'गद्दारी' पर जमकर प्रहार किया।

उन्होंने हिंदुत्व से लेकर महंगाई, बेरोजगारी, रुपए की गिरावट, महाराष्ट्र से औद्योगिक परियोजनाओं को गुजरात ले जाने, शिवसेना को तोड़ने और पाक अधिकृत कश्मीर के मुद्दे को लेकर बीजेपी पर भी जमकर निशाना साधा।

मुंबई का शिवाजी पार्क का मैदान उद्धव ठाकरे के भाषण शुरु करते ही ‘जय भवानी, जय शिवाजी’ के गगनभेदी नारों से गूंज उठा। उद्धव ठाकरे ने दशहरे की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि "यह अभूतपूर्व सम्मेलन हो रहा है‌। इतनी भारी भीड़ देखकर, मैं इससे गदगद हो गया हूं। बहुत कुछ बोलना है लेकिन इस प्रेम के आगे शब्द नहीं सूझ रहे हैं। यह प्रेम खरीदा या छीना नहीं जा सकता। इसीलिए डॉक्टरों ने न झुकने की सलाह दी है, इसके बाद भी मैं आप लोगों के सामने नतमस्तक हुआ हूं। आप लोगों का सुरक्षा कवच मेरे साथ है।"

इतना कहकर उद्धव ठाकरे ने झुककर भीड़ को नमस्कार किया और शिवसैनिकों में एक नया जोश भर गया। उन्होंने कहा, "यहां उमड़ी भीड़ किराए पर नहीं आई है। यहां एक निष्ठा और पुण्य है, यही ठाकरे परिवार की कमाई है। उन्होंने बागी विधायकों पर हमला बोलते हुए कहा कि शिवसेना के साथ जिन्होंने गद्दारी की, उन्हें गद्दार ही कहेंगे। उनके माथे पर लगा गद्दारी का धब्बा इस जन्म में नहीं पोंछा जा सकता है। मेरी सर्जरी हुई थी, तब जिन्हें जिम्मेदारी दी गई थी वे कटप्पा की तरह शिवसेना को ही काट रहे थे। शिवसेना फिर से नहीं आ सकती, ऐसी बातें कही जा रही थीं लेकिन यह उद्धव नहीं बल्कि उद्धव बालासाहेब ठाकरे है।"

उद्धव ठाकरे ने मुख्यमंत्री के हिंदुत्व पर कटाक्ष करते हुए कहा कि आपका हिंदुत्व क्या है? अन्य सभी धर्मों के लोग देशद्रोही, क्या यही आपका हिंदुत्व है? या फिर कोई भी हो, वह हमारा है, यह हिंदुत्व है?

उन्होंने कहा कि "बीजेपी का साथ छोड़ दिया, इसका मतलब ये नहीं है कि हमने हिंदुत्व छोड़ दिया। शिवसेना ने कभी अपना हिंदुत्व नहीं छोड़ा। सिर्फ माला जपना और धोती पहनना हमारा हिंदुत्व नहीं है। हमें हिंदुत्व न सिखाओ। बिना निमंत्रण जाकर नवाज शरीफ के जन्मदिन का केक खाना व मुफ्ती मोहम्मद के साथ गठबंधन कर सरकार बनाने वाले हमें हिंदुत्व सिखा रहे हैं। धर्म अपने घर पर रखो। घर से बाहर कदम रखा तो यह देश हमारा धर्म है। यदि कोई हमें धर्म की मस्ती सिखाएगा तो उनके सामने हम कट्टर देशाभिमानी हिंदू के तौर पर खड़े रहेंगे।"


उद्धव ठाकरे ने केंद्र सरकार की नीतियों पर भी जमकर हमला बोला। उन्होंने कहा, "आज यह बड़ी चिंता है कि देश में लोकतंत्र बचा भी है या नहीं। यह सभी नागरिकों के लिए खतरे की घंटी है। देश में हर तरफ भय का माहौल है, किसी को भी परेशान किया जा रहा है, वक्त की मांग है कि सभी लोग एकजुट होकर इसका मुकाबला करें।"

अपने करीब 45 मिनट के भाषण में ठाकर ने बीजेपी को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि वे अपनी नाकामियां हिंदुत्व की आड़ में छिपा रहे हैं। उन्होंने कहा, "आप (बीजेपी) गाय के बारे में बात करते हो, महंगाई के बारे में क्यों नहीं बोलते। लेकिन सिर्फ लोगों का ध्यान भटकाने के लिए ही हिंदुत्व का राग छेड़ा जाता है।"

उद्धव ठाकरे ने उत्तराखंड की अंकिता भंडारी और बिलकीस बानो केस का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड में बीजेपी नेता के रिसॉर्ट में अंकिता भंडारी को मार दिया गया, बिलकीस बानों के अपराधियों को आजाद कर दिया गया और बीजेपी नेता उनका स्वागत-सम्मान कर रहे हैं। ठाकरे ने पूछा, "क्या यही बीजेपी की विचारधारा और मूल्य हैं।"

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