कर्नाटक में गुजरात के अमूल के 'वर्चस्व' के खिलाफ घमासान, उत्पादों को सड़क पर फेंक कर प्रदर्शन

कर्नाटक रक्षण वेदिके के नेताओं ने कहा कि वे कन्नड़ लोगों द्वारा बनाए गए कर्नाटक मिल्क फेडरेशन को नष्ट नहीं होने देंगे। उन्होंने चेतावनी दी कि केंद्र सरकार नंदिनी का अमूल में विलय करने की योजना बना रही है। अगर ऐसा होता है, तो स्थानीय लोग विद्रोह करेंगे।

फोटोः IANS
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नवजीवन डेस्क

कर्नाटक चुनाव से पहले राज्य में गुजरात के अमूल के उत्पादों के बढ़ते वर्चस्व के खिलाफ विरोध प्रदर्शन तेज हो गया है। कर्नाटक रक्षण वेदिके ने कर्नाटक मिल्क फेडरेशन को अमूल में मिलाने की साजिश का आरोप लगाते हुए आज अमूल के उत्पादों को सड़कों पर फेंककर प्रदर्शन किया। वेदिके ने राज्य में अमूल उत्पादों की सीधी बिक्री के खिलाफ चेतावनी दी है।

कर्नाटक रक्षण वेदिके के सदस्यों ने राज्य में अमूल द्वारा दूध की सीधी बिक्री के विरोध में सोमवार को मैसुरू बैंक सर्किल के पास विरोध-प्रदर्शन किया। वेदिके कार्यकर्ताओं ने कर्नाटक में अमूल ब्रांड के दूध और दही की बिक्री और कर्नाटक मिल्क फेडरेशन (केएमएफ) को अमूल में मिलाने की साजिश का आरोप लगाते हुए निंदा की।

वेदिके के अध्यक्ष टी.ए. नारायण गौड़ा ने विरोध का नेतृत्व किया। प्रदर्शनकारियों ने इस दौरान अमूल का पुतला जलाने का भी प्रयास किया। वेदिके उपाध्यक्ष डी.पी. अंजनप्पा ने कहा कि अमूल कन्नड़ लोगों की भावनाओं से खिलवाड़ कर रहा है। उन्होंने कहा कि वह कन्नड़ लोगों द्वारा बनाए गए केएमएफ को नष्ट नहीं होने देंगे। उन्होंने चेतावनी दी कि केंद्र सरकार नंदिनी का अमूल में विलय करने की योजना बना रही है। अगर ऐसा होता है, तो स्थानीय लोग विद्रोह करेंगे।


वेदिके की युवा शाखा के अध्यक्ष धर्मराज गौड़ा टी.ए. ने कहा, अगर अमूल ने राज्य में दूध और दही की बिक्री जारी रखी, तो उसके सभी उत्पादों का बहिष्कार किया जाएगा। उसे आइसक्रीम से लेकर बिस्कुट तक कोई भी उत्पाद नहीं बेचने दिया जाएगा। अमूल को दूध और दही की बिक्री बंद करनी होगी। प्रदर्शन के दौरान जब वेदिके कार्यकर्ताओं ने अमूल का पुतला जलाने की कोशिश की तो पुलिस ने उन्हें रोक दिया।

इसे लेकर पुलिसकर्मियों और प्रदर्शनकारियों के बीच कहासुनी भी हुई। पुलिस ने बड़ी संख्या में आंदोलनकारियों को हिरासत में ले लिया। वेदिके के महासचिव बी. सन्नेरप्पा ने कहा, सत्तारूढ़ बीजेपी सरकार ने डरकर पुलिस से सैकड़ों कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार करने के लिए कहा है। पुलिस के अत्याचारों को एक चुनौती के रूप में लिया जाएगा। राज्य के हर हिस्से में आंदोलन होगा। उन्हें और पुलिस बल भेजने दो।

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