वीडियो: लॉकडाउन के 50 दिन में न कोरोना काबू में आया, न अर्थव्यवस्था, #CluelessBJPGovt संभाल पाएगी हालत

क्या लॉकडाउन के करीब 50 दिन बाद हम कोरोना वायरस को काबू मेंकर पाए? क्या मरीजों की संख्या नहीं बढ़ी? सिर्फ सरकारीआंकड़े ही लें जो हर रोज मोदी सरकार का स्वास्थ्य मंत्रालय पेश करता है, उससे साफ है कि देश में इस समय करीब 60,000 मामले हैं।

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नवजीवन डेस्क

लॉकडाउन के करीब 50 दिन बाद क्या हम कोरोना वायरस को फैलने से रोक पाए हैं?

24 मार्च को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जब लॉकडाउन का ऐलान किया था, तो उन्होंने कहा था कि कोरोना को रोकने के लिए लॉकडाउन जरूरी है, और तीन सप्ताह में इसे हम काबू में कर लेंगे। देश में कोरोना वायरस का प्रकोप जारी है। ताजा आंकड़ों के मुताबिक देश में कुल 59 हजार 662 संक्रमित हैं। 39 हजार 834 का इलाज चल रहा है। 17 हजार 846 ठीक हो चुके हैं, जबकि 1982 मरीजों की मौत हो चुकी है।

9 मई तक देश में कोरोना संक्रमित लोगों की संख्या देश में 60,000 पहुंच चुकी है। ध्यान रहे कि जब प्रधानमंत्री ने लॉकडाऊन का ऐलान किया था तो उस वक्त देश में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या 500 से भी कम थी।

हालांकि इस दौरान कुछ लोगों ने इस बीमारी को मात भी दी है, लेकिन इस जानलेवा वायरस का संक्रमण हाल के दिनों में काफी तेज हुआ है। मई के पहले सप्ताह में ही करीब 10 हजार नए केस सामने आए हैं, और इनमें बीजेपी शासित राज्यों की हालत तो बहुत खराब है। गुजरात, मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश से भयावह खबरें आ रही हैं और वहां रोज कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या में इजाफा हो रहा है। देश की राजधानी दिल्ली की हालत भी सही नहीं है।

गुजरात में तो अब हालात से हैं कि केंद्र ने एम्स के डॉक्टरों की एक टीम डायरेक्टर रणदीप गुलेरिया की अगुवाई में गुजरात भेजी है जो हालात की समीक्षा करेगी और वहां के डाक्टरों को कोरोना से लड़ने के तरीके समझाएगी।

बीजेपी का दावा है कि कोरोना का कर्व फ्लैट हो रहा है, यानी इसके संक्रमण में इजाफा नहीं हो रहा है, लेकिन हकीकत यह है कि अब हर दिन करीब 3000 नए मरीज सामने आ रहे हैं यानी हर तीन दिन में 10000 नए मरीज बढ़ रहे हैं।

इसके अलावा प्रवासी मजदूरों की हालत तो जगजाहिर है। लोग भूख से मर रहे हैं, पैदल घरों को लौटते उनकी जान जा रही है, लेकिन बीजेपी सरकार को इन राष्ट्र निर्माताओं की कोई सुध नहीं है।अगर बात करें लॉकडाउन की तो बीजेपी को अब कोई हवा नहीं है कि इससे बाहर कैसे निकला जाए। अर्थव्यवस्था को इतना बड़ा झटका लगा है इससे कि उबरने में कई साल लग जाएंगे। कुल मिलाकर बीजेपी की मिसहैंडलिंग के चलते न सिर्फ देश में कोरोना वायरस का संक्रमण तेजी से बढ़ा बल्कि पहले से गर्त में पहुंची अर्थव्यवस्था पाताल में पहुंच गई

बीजेपी भले ही कितना पीआर कर ले, लेकिन हकीकत यही है कि मोदी सरकार clueless है।

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