पंजाब में कोरोना संक्रमितों की संख्या 100 के पार, मृतकों के परिवार शव लेने से कर रहे इनकार  

कोरोना वायरस के चलते इंसानियत का शर्मसार होना जारी है। मंगलवार को भी एक ऐसी घटना हुई। कोरोना की वजह से जान गंवाने वाले नगर निगम के रिटायर्ड सुपरिंटेंडेंट इंजीनियर जसविंदर सिंह के पार्थिव शव को उनके परिजनों ने लेने से इनकार कर दिया।

फोटो: सोशल मीडिया
फोटो: सोशल मीडिया
user

अमरीक

पंजाब में बुधवार सुबह फरीदकोट और जालंधर के एक-एक व्यक्ति के कोरोना-पॉजिटिव होने की पुष्टि हुई है। अब पंजाब में बुधवार दोपहर तक कोरोना संक्रमितों की कुल तादाद 101 हो गई है। मंगलवार को ही संकेत मिलने लगे थे कि राज्य में कोरोना वायरस से पीड़ितों की संख्या में इजाफा हो रहा है। मंगलवार को पंजाब में कोरोना वायरस के 19 नए मामले सामने आए थे। फरीदकोट में संक्रमित का नया मामला सामने आने के बाद उन तमाम लोगों की शिनाख्त शुरू कर दी गई है जो बीते 15 दिन में उक्त व्यक्ति के संपर्क में आए थे।

फरीदकोट में संक्रमित हुआ व्यक्ति यहां हुए पहले पॉजिटिव मरीज के संपर्क में रहा था। जालंधर में भी बुधवार सुबह जिस मरीज की पुष्टि हुई है, उसकी मां पहले से ही कोरोना वायरस का शिकार है। यहां भी जरूरी जांच और चिकित्सा के लिए उन तमाम लोगों की शिनाख्त की जा रही है जो इसके संपर्क में रहे थे। मंगलवार को पंजाब में कोरोना-पॉजिटिव के 19 मामले पाए गए। इनमें से 3 तबलीगी जमात से संबंधित हैं। उन्होंने दिल्ली के निजामुद्दीन में जमात के समागम में शिरकत की थी।


पंजाब का अत्याधुनिक माना जाने वाला (चंडीगढ़ से सटा) शहर मोहाली कोरोना वायरस का सबसे ज्यादा शिकार है। यहां फिलहाल तक 26 संक्रमित हैं। उसके बाद जिला नवांशहर है, जहां 19 व्यक्ति कोरोना वायरस की चपेट में हैं। पठानकोट में कल एक ही दिन में 6 मामले सामने आए। मोगा में चार तो मानसा में 2 लोग संक्रमित पाए गए। पठानकोट में बीते 5 अप्रैल को 74 वर्षीया जिन वृद्धा का कोरोना वायरस से देहांत हो गया था, उनके परिवार के 6 सदस्य पॉजिटिव हो चुके हैं। ‌ मंगलवार को ही स्पष्ट तौर पर संकेत मिलने लगा था कि पीड़ितों की संख्या में इजाफा हो रहा है। आज इन पंक्तियों को लिखने तक 2 मामले सामने आ चुके हैं।

इस बीच कोरोना वायरस के चलते इंसानियत का शर्मसार होना जारी है। मंगलवार को भी एक ऐसी घटना हुई। कोरोना की वजह से जान गंवाने वाले नगर निगम के रिटायर्ड सुपरिंटेंडेंट इंजीनियर जसविंदर सिंह के पार्थिव शव को उनके परिजनों ने लेने से इनकार कर दिया। इसके बाद डीसी शिवदुलार सिंह ढिल्लों ने जसविंदर सिंह के अंतिम संस्कार की जिम्मेदारी तीन प्रशासनिक अधिकारियों को सौंपी। मंगलवार देर शाम अमृतसर स्थित गुरुद्वारा शहीदां साहिब के निकट के श्मशान घाट में सिख मर्यादाओं के अनुसार जसविंदर सिंह का अंतिम संस्कार कर दिया गया। भरे पूरे परिवार के रहते भी उनकी अर्थी को कंधा निगम के कर्मचारियों ने दिया। श्मशान घाट के चौकीदार ने मुखाग्नि दी।


एसडीएम विकास हीरा के अनुसार जसविंदर सिंह के परिजनों से पहले निजी अस्पताल और बाद में जिला प्रशासन ने संपर्क किया, लेकिन उन्होंने शव लेने से इंकार कर दिया। हालांकि जसविंदर सिंह की एक बेटी डॉक्टरी पढ़ रही है, उसने भी पिता के पार्थिव शव को लेने से साफ इनकार कर दिया। 'नवजीवन' ने 7 अप्रैल को पंजाब में ताक पर आ रही इंसानियत पर विस्तृत रिपोर्ट दी थी। एक और ज्ञात घटना के मुताबिक लुधियाना के एक गांव में एक परिवार ने अपने एक बुजुर्ग को घर में नहीं आने दिया। वह लुधियाना से पैदल चलकर गांव पहुंचे थे। मंगलवार को कोरोना वायरस से संबंधित घटनाक्रम में एक व्यक्ति ने खुदकुशी की।

उधर, मुस्लिम गुर्जरों की परेशानियां भी बढ़ रही हैं। गुरदासपुर से खबर है कि वहां उनका दूध 10 रुपए प्रति किलो के हिसाब से भी कोई नहीं खरीद रहा जबकि पंजाब में इस वक्त 50 से 60 प्रति किलो के हिसाब से दूध बेचा जा रहा है। सोशल मीडिया पर निरंतर फैल रही जहरीली अफवाहों ने गुर्जरों को रोजी-रोटी के लिए मोहताज कर दिया है।

Google न्यूज़नवजीवन फेसबुक पेज और नवजीवन ट्विटर हैंडल पर जुड़ें

प्रिय पाठकों हमारे टेलीग्राम (Telegram) चैनल से जुड़िए और पल-पल की ताज़ा खबरें पाइए, यहां क्लिक करें @navjivanindia