अर्थतंत्र

मंदी की आहट पर आखिर जागी सरकार, ऑटो और बैंकिंग सेक्टर के लिए बड़े ऐलान, ब्याज कटौती का फायदा अब हर ग्राहक को

देश की बदहाल होती अर्थव्यवस्था को संभालने की कोशिश में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कई बड़े ऐलान किए। उन्होंने दावा किया कि सिर्फ भारत नहीं, पूरी दुनिया इस समय मंदी का सामना कर रही है, लेकिन देश की अर्थव्यवस्था दूसरे देशों के मुकाबले काफी बेहतर हुई है।

फोटोः सोशल मीडिया
फोटोः सोशल मीडिया 

लगातार गिरती अर्थव्यवस्था के कारण देश के बैंकिंग सेक्टर, ऑटोमोबाइल सेक्टर, मैनूफैक्चरिंग सेक्टर, टेक्सटाइल सेक्टर, रियल स्टेट सेक्टर समेत सभी क्षेत्रों की खस्ता होती हालत की लगातार आ रही खबरों के बीच शुक्रवार को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को आखिरकार इस मुद्दे पर एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कई ऐलान करना पड़ा है।

वित्त मंत्री ने देश के बैंकिंग सेक्टर को राहत देते हुए ऐलान किया कि सरकारी बैंकों के लिए 70,000 करोड़ रुपये का अग्रिम भुगतान उपलब्ध कराया जाएगा। ऐसे में बैंकों को नए कर्ज देने में कोई परेशानी नहीं होगी। उन्होंने कहा कि केंद्रीय बैंक द्वारा प्रमुख ब्याज दरों में की गई कटौती का लाभ सीधे ग्राहकों तक पहुंचेगा।" उन्होंने कहा कि इससे ग्राहको के ब्याज दरों में कटौती होगी।

Published: 23 Aug 2019, 7:22 PM IST

बैंकिंग के बाद सीतारमण ने कराह रहे ऑटोमोबाइल सेक्टर को थोड़ी राहत देते हुए ऐलान किया कि वाहन खरीद बढ़ाने के लिए सरकार कई योजनाओं पर काम कर रही है। उन्होंने कहा कि 31 मार्च 2020 तक खरीदे गए बीएस-4 वाहन अपनी पंजीकरण अवधि तक मान्य होंगे। साथ ही उन्होंने ऐलान किया कि ईV और बीएस-4 गाड़ियों का रजिस्ट्रेशन जारी रहेगा। इसके साथ ही सरकार ने वन टाइम रजिस्ट्रेशन फीस को जून 2020 तक के लिए बढ़ा दिया है।

इसके बाद निर्मला सीतारमण ने तीसरा बड़ा ऐलान बड़े निवेशकों को लेकर किया। सीतारमण ने कैपिटल गेन्स पर लगाए गए सरचार्ज को वापस लेने का ऐलान करते हुए कहा कि शेयर बाजार में कैपिटल गेन्स और फॉरेन पोर्टफोलियो इन्वेस्टमेंट (एफपीआई) पर सरचार्ज नहीं लिया जाएगा। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि सीएसआर (कॉर्पोरेट्स की सामाजिक जिम्मेदारी) का उल्लंघन अब दंडनीय अपराध नहीं होगा और सरकार स्टार्टअप्स और उनके निवेशकों के लिए एंजेल टैक्स के प्रावधान को भी वापस लेगी।

Published: 23 Aug 2019, 7:22 PM IST

सीतारमण ने कर वसूली प्रक्रिया और जीएसटी को लेकर ऐलान किया कि इनकम टैक्स रिटर्न भरना पहले से काफी आसान हुआ है। जीएसटी को भी और आसान बनाया जाएगा। उन्होंने कहा कि सरकार जीएसटी (वस्तु एवं सेवा कर) रिफंड प्रक्रिया में आ रही परेशानियों और उससे जुड़ी खामियों की पहचान में जुटी है, ताकि उन्हें जल्द से जल्द दूर किया जा सके। सीतारमण ने कहा कि सरकार पर टैक्स को लेकर लोगों को परेशान करने के आरोप लगते हैं। लेकिन हम टैक्स और लेबर कानूनों में लगातार सुधार कर रहे हैं।

उन्होंने ऐलान किया कि विजयादशमी के बाद से फेसलैस (कंप्यूटर द्वारा) टैक्स स्क्रूटनी की जाएगी, ताकि करदाताओं के प्रताड़ित नहीं किया जा सके और ऐसी घटनाओं पर लगाम लगे। आयकर विभाग द्वारा भेजे जाने वाले नोटिस और सम्मन 1 अक्टूबर से केंद्रीकृत होंगे। उन्होंने कहा कि आयकर विभाग के सभी नोटिसों का निपटारा कर दिया जाएगा। उद्योग जगत को दिलासा देते हुए कहा कि सरकार वेल्थ क्रियेटर्स (पूंजीपतियों) का सम्मान करती है और हड़बड़ी में ऐसा कोई कदम नहीं उठाया जाएगा, जिससे उनको नुकसान हो। उन्होंने कहा कि सरकार ने कंपनी अधिनियम के तहत 14,000 अदालती मामलों को वापस लिया है।

Published: 23 Aug 2019, 7:22 PM IST

इससे पहले प्रेस कांफ्रेंस में सीतारमण ने अपनी सरकार की पीठ थपथपाते हुए दावा किया कि इस समय पूरी दुनिया में मंदी है, लेकिन बाकी देशों के मुकाबले भारत की अर्थव्यवस्था बेहतर हालात में है। उन्होंने कहा कि वैश्विक व्यापार में उतार-चढ़ाव का दौर जारी है, जिसका असर अर्थव्यवस्था पर पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि वैश्विक विकास दर भी नीचे जा रही है और अब दुनिया की संशोधित विकास दर 3.2 फीसदी है। लेकिन भारत की जीडीपी (सकल घरेलू उत्पाद) की विकास दर अभी भी दूसरों से ज्यादा है। उन्होंने कहा कि आर्थिक सुधार एक सतत चलने वाली प्रक्रिया है और हमने अपनी गति अभी खोई नहीं है। उन्होंने दावा किया कि आर्थिक सुधार 2014 से ही सरकार के शीर्ष एजेंडा में शामिल है। उन्होंने कहा कि चीन और अमेरिका के बीच चल रहे ट्रेड वॉर की वजह से मंदी की समस्या सामने आ रही है।

Published: 23 Aug 2019, 7:22 PM IST

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Published: 23 Aug 2019, 7:22 PM IST