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पीएम केयर्स फंड को लेकर केंद्र को फटकार! दिल्ली हाईकोर्ट ने पूछा- महत्वपूर्ण मुद्दे पर केवल एक पेज का जवाब, आगे कुछ नहीं?

दिल्ली हाईकोर्ट ने मंगलवार को संविधान के अनुच्छेद 12 के तहत पीएम केयर्स फंड को एक 'सरकारी' फंड घोषित करने की मांग वाली याचिका पर प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) से विस्तृत जवाब मांगा।

फोटो: IANS
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दिल्ली हाईकोर्ट ने मंगलवार को संविधान के अनुच्छेद 12 के तहत पीएम केयर्स फंड को एक 'सरकारी' फंड घोषित करने की मांग वाली याचिका पर प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) से विस्तृत जवाब मांगा।

अदालत का यह निर्देश पीएमओ सचिव द्वारा दायर एक पेज के हलफनामे के जवाब में आया है। मुख्य न्यायाधीश सतीश चंद्र शर्मा और न्यायमूर्ति सुब्रमण्यम प्रसाद की अध्यक्षता वाली खंडपीठ ने केंद्र से जनहित याचिका (पीआईएल) पर 'विस्तृत और संपूर्ण' जवाब दाखिल करने को कहा।

Published: 12 Jul 2022, 8:26 PM IST

पीठ ने सुनवाई के दौरान मौखिक रूप से टिप्पणी करते हुए कहा, "इस तरह के एक महत्वपूर्ण मुद्दे का सिर्फ एक पेज का जवाब?" पीठ ने कहा, "हमें एक उचित उत्तर की आवश्यकता है। मुद्दा इतना आसान नहीं है। हमें एक विस्तृत उत्तर की आवश्यकता है।"

याचिकाकर्ता सम्यक गंगवाल की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता श्याम दीवान ने कहा कि यह कोष भारत के संविधान के अर्थ में 'स्टेट' (सरकारी) है और संवैधानिक पदाधिकारियों द्वारा बनाए गए किसी भी कोष को संविधान से अनुबंधित नहीं किया जा सकता है।

Published: 12 Jul 2022, 8:26 PM IST

केंद्र की ओर से पेश सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि चार सप्ताह के भीतर विस्तृत जवाब दाखिल किया जाएगा। मामले की अगली सुनवाई 16 सितंबर को होगी।

अदालत एक याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिसमें यह घोषणा करने की मांग की गई थी कि फंड संविधान के अनुच्छेद 12 के तहत 'सरकारी' है और पीएम केयर्स फंड को अपने नाम/वेबसाइट में 'प्रधानमंत्री' के नाम या उनके हस्ताक्षर का उपयोग करने से रोका जाना चाहिए।

Published: 12 Jul 2022, 8:26 PM IST

केंद्र के पहले के सबमिशन के अनुसार, पीएम केयर्स फंड आरटीआई अधिनियम की धारा 2 (एच) के दायरे में एक 'सार्वजनिक प्राधिकरण' नहीं है। केंद्र ने यह भी स्पष्ट किया था कि पीएम केयर्स फंड में कोई भी सरकारी पैसा जमा नहीं किया जाता है और पीएम केयर्स फंड के तहत केवल बिना शर्त और स्वैच्छिक योगदान स्वीकार किए जाते हैं।

इससे पहले पीएमओ द्वारा दायर एक हलफनामे में कहा गया था, "यह दोहराया जाता है कि ट्रस्ट का फंड भारत सरकार का फंड नहीं है और यह राशि भारत के समेकित (संयुक्त) कोष में नहीं जाती है।"

आईएएनएस के इनपुट के साथ

Published: 12 Jul 2022, 8:26 PM IST

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Published: 12 Jul 2022, 8:26 PM IST