
अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का विवादों से गहरा नाता है। एपस्टीन फाइल को लेकर विवादों में घिरे ट्रंप ने अब महिला रिपोर्टर को कुछ ऐसा कह दिया कि जिसकी खूब चर्चा हो रही है। एयरफोर्स वन में मीडिया से बातचीत के दौरान एपस्टीन फाइल्स को लेकर सवाल किया गया, तो ट्रंप अपना आपा खो बैठे।
ब्लूमबर्ग की व्हाइट हाउस रिपोर्टर कैथरीन लूसी ने डोनाल्ड ट्रंप से एपस्टीन फाइल्स को लेकर चल रहे विवाद और इससे जुड़े डॉक्यूमेंट को सार्वजनिक करने के लिए अमेरिकी संसद में वोटिंग को लेकर सवाल कर दिया।
उन्होंने पूछना शुरू किया, "अगर फाइलों में कुछ भी आपत्तिजनक नहीं है।" इस पर अमेरिकी राष्ट्रपति ने उन्हें अपनी बात पूरी नहीं करने दी और उन्हें बीच में ही रोककर कहा, "चुप। चुप, पिग्गी।"
इससे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति ने व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव कैरोलिन लेविट को लेकर कुछ ऐसा कहा था, जिसकी खूब चर्चा हुई। मामला अगस्त का है, जब कैरोलिन ने ट्रंप के लिए नोबेल शांति पुरस्कार की मांग की थी।
इसे लेकर ट्रंप से प्रतिक्रिया मांगी गई, तो उन्होंने कहा था, "लेविट एक स्टार बन गई हैं। उनका चेहरा है, उनका दिमाग, उनके होंठ, जिस तरह से वे हिलती हैं, जैसे वह चलती हैं, ऐसा लगता है वह कोई मशीनगन हों।"
ट्रंप ने आगे कहा, "वो एक महान इंसान हैं, और मुझे नहीं लगता कि कैरोलिन से बेहतर प्रेस सचिव कभी किसी को मिली होगी। वह अद्भुत हैं।" ट्रंप के इस बयान की सोशल मीडिया पर खूब चर्चा हुई।
इससे पहले ट्रंप ने 2013 में "सेलिब्रिटी अप्रेंटिस" के एक एपिसोड में एक महिला प्रतियोगी से कहा था, "यह एक सुंदर तस्वीर होगी, जिसमें आप घुटनों के बल बैठी हैं।"
2015 में अमेरिकी राष्ट्रपति ने एक सोशल मीडिया पोस्ट में कहा था, "यदि हिलेरी क्लिंटन अपने पति को संतुष्ट नहीं कर सकतीं, तो उन्हें क्या लगता है कि वे अमेरिका को संतुष्ट कर सकती हैं?"
Published: undefined
रावलपिंडी की अदीयाला जेल के बाहर 18-19 नवंबर की रात देश के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की बहनों के साथ जो हुआ उसने एक बड़े वर्ग में आक्रोश भर दिया है। पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) ही नहीं बल्कि अन्य दलों से जुड़े लोगों ने भी पुलिसिया ज्यादती को नाकाबिले बर्दाश्त माना है।
इसे गौर करने लायक नहीं, बल्कि शर्मिंदा करने लायक बताया है। इमरान खान की बहनें—अलीमा, नोरीन, और उज्मा, जो रसूखदार राजनीतिक परिवार से ताल्लुक रखती हैं—जब पुलिस के हाथों घसीटी जाती दिखीं तो सवाल सिर्फ यह नहीं उठा कि “क्या हुआ?” बल्कि यह भी कि “पाकिस्तान किस दिशा में जा रहा है?”
पीटीआई ने कुछ तस्वीरें और वीडियो सोशल मीडिया पर पोस्ट किए, जिसमें घटनास्थल की लाइटें बुझी हुई दिखीं और तीनों जमीन पर बैठकर भाई से मिलने की बात कह रही हैं। कथित तौर पर इस दौरान पानी छोड़ा गया। फिर तीन महिलाओं को इस तरह खींचा गया, धक्का दिया गया और उठाकर ले जाया गया, जैसे वे देश की सबसे खतरनाक भगोड़ी हों।
अलीमा खान बोलतीं सुनाई दे रही हैं, "वे हमें मिट्टी में गिराकर घसीट रहे थे। यह सिर्फ कार्रवाई नहीं थी—यह संदेश था, ‘इमरान खान को सपोर्ट करोगे तो तुम्हारी जगह जमीन पर है।"
सबसे ज्यादा भयावह दृश्य नोरीन निआजी का था—जहां वे जमीन पर पड़ी थीं और पुलिस उन्हें खींच रही थी। नोरीन बोलीं, "मेरी चादर खींची गई। मुझे बाल पकड़कर घसीटा गया। औरतों के साथ ऐसा व्यवहार करने वाली सरकार शासन करने का कौन-सा नैतिक अधिकार रखती है?" तो उज्मा ने इसे सीधा-सीधा "आतंक" का नाम दिया। वो बोलीं, "उन्होंने अंधेरा करके हमें डराने की कोशिश की। क्या यह जेल के बाहर शांतिपूर्ण बैठी तीन महिलाओं से निपटने का तरीका है? यह सुरक्षा नहीं, सत्ता का नंगा प्रदर्शन है।"
ये घटनाएं एक दिन की नहीं हैं। अप्रैल 2025 में भी कुछ ऐसा ही हुआ था। 8, 14 और 17 अप्रैल को भी जेल के बाहर पुलिस ने इनके साथ ऐसा ही सुलूक किया था। उन्हें कभी शादी हॉल में ले जाया गया, कभी मोटरवे की ओर, और कभी घंटों अज्ञात जगह पर रोका गया था।
पीटीआई का आरोप है कि परिवार को मुलाकातें रोककर और फिर ऐसी कार्रवाई करके, सत्ता यह साबित करना चाहती है कि इमरान खान "अकेले" हैं और उनका परिवार भी किसी सुरक्षा या सम्मान का पात्र नहीं।
पूर्व राष्ट्रपति आरिफ अल्वी ने एक्स पर कहा, "यह आज का पाकिस्तान है - जहां महिलाओं के बुर्के की पवित्रता का उल्लंघन किया जाता है। बहनों का सिर्फ इतना कसूर था कि वे अपने भाई से मिलने आई थीं।"
Published: undefined
चीन ने बुधवार को जापान की प्रधानमंत्री साने ताकाइची से ताइवान पर की गई ‘गलत टिप्पणियां’ वापस लेने को कहा और चेतावनी दी कि ऐसा नहीं करने पर ‘जवाबी कदम’ उठाए जाएंगे।
दोनों देशों के अधिकारियों के बीच बीजिंग में तनाव कम करने के लिए हुई बैठक के एक दिन बाद चीन ने यह चेतावनी जारी की। चीन-जापान के बीच हुई बैठक में हालांकि मतभेदों को दूर करने पर बात नहीं बनी।
चीन के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता माओ निंग ने यहां एक मीडिया ब्रीफिंग में कहा कि ताकाइची ने हाल ही में ताइवान के बारे में गलत टिप्पणियां कीं, जो चीन के आंतरिक मामलों में घोर हस्तक्षेप है और अंतरराष्ट्रीय कानून का उल्लंघन है तथा उन्होंने युद्धोत्तर अंतरराष्ट्रीय व्यवस्था को चुनौती दी और चीन के लोगों में आक्रोश को भड़काया है।
उन्होंने कहा, “हम जापान से आग्रह करते हैं कि वह अपनी गलत टिप्पणियों को वापस ले, समस्याएं उत्पन्न करना बंद करे और द्विपक्षीय संबंधों की नींव को बनाए रखने के लिए ठोस कदम उठाए।”
माओ ने कहा, “अगर जापान अपनी टिप्पणियों को वापस लेने से इनकार करता है, तो चीन के पास गंभीर जवाबी कार्रवाई करने के अलावा कोई विकल्प नहीं होगा और इसके सभी परिणाम जापान को भुगतने होंगे।”
माओ ने एक प्रश्न का उत्तर देते हुए यह भी कहा कि जापान संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में स्थायी सदस्यता पाने के लिए ‘पूरी तरह से अयोग्य’ है।
उन्होंने जोर देकर कहा कि कुछ देश जो अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा बनाए रखने की जिम्मेदारी लेने में असमर्थ हैं, वे सुरक्षा परिषद के सदस्य बनने के भी अयोग्य हैं।
इस मुद्दे पर मंगलवार को संयुक्त राष्ट्र में दोनों देशों के बीच तीखी बहस हुई। भारत, जर्मनी और ब्राजील के साथ मिलकर जापान संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की स्थायी सदस्यता के लिए दावा पेश कर रहा है, जिसका चीन विरोध करता है।
Published: undefined
भारत से सटे नेपाल के बारा जिले के कुछ हिस्सों में ‘जेन-जेड’ युवाओं और अपदस्थ प्रधानमंत्री के पी शर्मा ओली की पार्टी सीपीएन-यूएमएल के कार्यकर्ताओं के बीच हुई झड़प के बाद बुधवार को इलाके में कर्फ्यू लगा दिया गया। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।
बारा जिला प्रशासन कार्यालय ने बताया कि सिमारा हवाई अड्डे के 500 मीटर के दायरे में अपराह्न 12:30 बजे से रात 8:00 बजे तक कर्फ्यू लागू रहेगा, क्योंकि वहां सैकड़ों जेनरेशन जेड युवा नेपाल कम्युनिस्ट पार्टी (एकीकृत मार्क्सवादी-लेनिनवादी) के खिलाफ नारे लगाते हुए एकत्र हुए थे।
पुलिस ने बताया कि यह झड़प उस समय हुई जब बुद्ध एयर का विमान सीपीएन-यूएमएल महासचिव शंकर पोखरेल और पार्टी के युवा नेता महेश बसनेत को लेकर काठमांडू से सिमारा के लिए उड़ान भरने वाला था, जहां उन्हें सरकार विरोधी रैली को संबोधित करना था।
सीपीएन-यूएमएल नेताओं के सिमारा जाने की खबर जैसे ही फैली ‘जेन-जेड’ के प्रदर्शनकारी उनके आगमन का विरोध करने के लिए हवाई अड्डे पर एकत्र हो गए। जहां उनकी स्थानीय सीपीएन-यूएमएल कार्यकर्ताओं के साथ झड़प हो गई।
घटना के बाद बुद्ध एयरलाइंस ने काठमांडू से सिमारा तक की अपनी सभी घरेलू उड़ानें रद्द कर दीं। इनमें वह उड़ान भी शामिल थी जो सीपीएन-यूएमएल के दो नेताओं को लेकर जा रही थी। दोनों नेता झड़प के बाद घर लौट आए।
जेन जेड 1997 और 2012 के बीच पैदा हुए लोगों का समूह है, जिन्हें डिजिटल नेटिव भी कहा जाता है क्योंकि वे इंटरनेट और स्मार्टफोन के साथ बड़े हुए हैं।
Published: undefined
दक्षिणी जापान के एक तटीय जिले में भीषण आग लगने की घटना सामने आई। आग लगने का वीडियो सामने आया, जिसमें देखा जा सकता है कि आग की लपटें ऊंची उठ रही हैं। इस घटना में एक शख्स की मौत हो गई।
न्यूज एजेंसी शिन्हुआ ने स्थानीय मीडिया के हवाले से बुधवार को बताया कि दक्षिण-पश्चिमी जापान के ओइता शहर के एक मोहल्ले में बेकाबू आग लग गई। इसमें 170 से ज्यादा इमारतें क्षतिग्रस्त हो गईं और 70 से ज्यादा लोग लापता हो गए।
सिन्हुआ ने क्योडो न्यूज की रिपोर्ट के हवाले से बताया कि अग्निशमन अधिकारियों को मंगलवार शाम लगभग 5:45 बजे स्थानीय समयानुसार एक आपातकालीन कॉल मिली कि दक्षिण-पश्चिमी जापानी शहर के सागानोसेकी जिले में आग लग गई है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि तेज हवाओं के दौरान आग व्यापक रूप से फैल गई और सागानोसेकी मछली पकड़ने वाले बंदरगाह के उत्तर-पूर्व में स्थित घने रिहायशी इलाके को अपनी चपेट में ले लिया। देखते ही देखते आसपास के जंगलों तक इसकी आंच पहुंच गई।
अग्निशमन कर्मियों ने बुधवार सुबह भी आग बुझाने का काम जारी रखा, जिसके कारण 115 घरों के 175 लोगों को पास के एक सामुदायिक भवन में शरण लेनी पड़ी।
Published: undefined
Google न्यूज़, नवजीवन फेसबुक पेज और नवजीवन ट्विटर हैंडल पर जुड़ें
प्रिय पाठकों हमारे टेलीग्राम (Telegram) चैनल से जुड़िए और पल-पल की ताज़ा खबरें पाइए, यहां क्लिक करें @navjivanindia
Published: undefined