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दुनियाः ट्रंप-मस्क के खिलाफ अमेरिका के कई शहरों में प्रदर्शन और UN प्रमुख ने गाजा में जातीय सफाए को किया खारिज

नाइजीरिया के उत्तर-पश्चिमी इलाके में स्थित एक इस्लामिक स्कूल में आग लगने से 17 बच्चों की मौत हो गई और कई घायल हो गए। ईरान के राष्ट्रपति मसूद पेजेशकियन ने पेट्रोलियम निर्यातक देशों के संगठन ओपेक के सदस्यों से अमेरिका के खिलाफ एकजुट होने की अपील की है।

ट्रंप-मस्क के खिलाफ अमेरिका के कई शहरों में प्रदर्शन और UN प्रमुख ने गाजा में जातीय सफाए को किया खारिज
ट्रंप-मस्क के खिलाफ अमेरिका के कई शहरों में प्रदर्शन और UN प्रमुख ने गाजा में जातीय सफाए को किया खारिज फोटोः सोशल मीडिया

ट्रंप और एलन मस्क के खिलाफ अमेरिका के कई शहरों में प्रदर्शन

ट्रंप प्रशासन की शुरुआती कार्रवाइयों के खिलाफ बुधवार को अमेरिका के कई शहरों में लोग सड़कों पर एकत्र हुए और विरोध-प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों ने ट्रंप प्रशासन की ओर से प्रवासियों के खिलाफ निर्वासन की कार्रवाई से लेकर ट्रांसजेंडर अधिकारों को वापस लेने और गाजा से फलस्तीनियों को जबरन स्थानांतरित करने के प्रस्ताव की निंदा की। फिलाडेल्फिया, कैलिफोर्निया, मिनेसोटा, मिशिगन, टेक्सास, विस्कॉन्सिन, इंडियाना और कई अन्य शहरों में प्रदर्शनकारियों ने राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की निंदा करते हुए पोस्टर लहराए।

ओहायो के कोलंबस में स्टेटहाउस के बाहर विरोध-प्रदर्शन में शामिल मार्गरेट विल्मेथ ने कहा, ‘‘मैं पिछले दो सप्ताह में लोकतंत्र में हुए बदलावों से चकित हूं, लेकिन यह बहुत पहले शुरू हो गया था।’’ विल्मेथ ने कहा कि वह सिर्फ प्रतिरोध में अपनी उपस्थिति दर्ज कराने की कोशिश कर रहे हैं। विरोध-प्रदर्शन सोशल मीडिया पर हैशटैग ‘बिल्डदरेजिस्टेंस’ और हैशटैग ‘50501’ के तहत चलाए गए एक ऑनलाइन आंदोलन का परिणाम था। हैशटैग ‘50501’ के तहत एक दिन में 50 राज्यों में 50 विरोध-प्रदर्शन करने का आह्वान किया गया था। सोशल मीडिया पर कई वेबसाइट और अकाउंट पर ‘फासीवाद को अस्वीकार करें’ और ‘हमारे लोकतंत्र की रक्षा करें’ जैसे संदेशों के साथ कार्रवाई का आह्वान किया गया।

मिसौरी की राजधानी जेफरसन में सीढ़ियों पर लगाए गए एक पोस्टर में लिखा था, ‘‘डीओजीई वैध नहीं है।’’ इसमें सवाल किया गया था कि एलन मस्क के पास हमारी सामाजिक सुरक्षा की जानकारी क्यों है। संसद सदस्यों ने भी चिंता व्यक्त की है कि अमेरिकी सरकार की भुगतान प्रणाली के साथ डीओजीई की भागीदारी से सुरक्षा जोखिम हो सकता है या सामाजिक सुरक्षा और मेडिकेयर जैसे कार्यक्रमों के भुगतान में चूक हो सकती है। अलबामा में ‘एलजीबीटीक्यू-प्लस’ लोगों को निशाना बनाने वाली कार्रवाइयों का विरोध करने के लिए सैकड़ों लोग स्टेटहाउस के बाहर एकत्र हुए।

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UN प्रमुख ने गाजा में 'जातीय सफाए' को किया खारिज, पूर्ण युद्ध विराम की अपील की

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने बुधवार को चेतावनी दी कि अंतरराष्ट्रीय कानून की मूल भावना के प्रति 'सच्चा' बने रहना और गाजा में 'किसी भी तरह के जातीय सफाए से बचना' बहुत जरूरी है। उन्होंने गाजा में पूर्ण युद्ध विराम की भी अपील की। यूएन प्रमुख ने संयुक्त राष्ट्र समिति की बैठक में कहा कि फिलिस्तीनी लोगों के अविभाज्य अधिकारों का मूल अर्थ उनके 'अपने देश' में इंसान के रूप में बसने से जुड़ा है। गुटेरस ने कहा, “हमने देखा है कि इन अधिकारों को साकार कर पाना हमारी पहुंच से दूर होता जा रहा है।" उन्होंने चेतावनी दी, "समाधान की तलाश में हमें समस्या को और बदतर नहीं बनाना चाहिए। अंतरराष्ट्रीय कानून की मूल भावना के प्रति सच्चे बने रहना महत्वपूर्ण है। किसी भी तरह के जातीय सफाए से बचना जरूरी है।"

यूएन चीफ का यह भाषण अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के उस प्रस्ताव के एक दिन बाद आया जिसमें उन्होंने कहा कि फिलिस्तीनियों को कहीं और बसाया जाएगा। ट्रंप ने कहा कि अमेरिका युद्धग्रस्त इलाके में 'दीर्घकालिक स्वामित्व की स्थिति' हासिल करेगा। हालांकि संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ने अपने संबोधन के दौरान ट्रंप या उनके प्रस्ताव का जिक्र नहीं किया। बैठक में गुटेरेस ने इजरायल और हमास के बीच युद्धविराम समझौते के पहले चरण के बाद गाजा में पूर्ण युद्धविराम की अपील की। उन्होंने कहा, "सबसे पहले, हमें स्थायी युद्धविराम और सभी बंधकों की बिना देरी रिहाई के लिए दबाव बनाना चाहिए। हम और अधिक मौत और विनाश की ओर नहीं जा सकते।" दो-राज्य समाधान के महत्व पर प्रकाश डालते हुए, संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ने कहा, "इजरायल के साथ शांति और सुरक्षा के साथ रहने वाला एक व्यवहार्य, संप्रभु फिलिस्तीनी राज्य मध्य पूर्व की स्थिरता के लिए एकमात्र स्थायी समाधान है।"

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नाइजीरिया के स्कूल में लगी भीषण आग, 17 बच्चों की मौत

नाइजीरिया के उत्तर-पश्चिमी इलाके में स्थित एक इस्लामिक स्कूल में लगी आग में कम से कम 17 बच्चों की मौत हो गई। देश की आपातकालीन प्रतिक्रिया एजेंसी ने यह जानकारी दी। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक राष्ट्रीय आपातकालीन प्रबंधन एजेंसी ने बताया कि बुधवार को जम्फारा राज्य के कौरा नमोदा जिले में यह भीषण हादसा हुआ। जब आग लगी, तब स्कूल में करीब 100 बच्चे मौजूद थे। एजेंसी के मुताबिक सत्रह बच्चे गंभीर रूप से घायल हो गए, जिनका अलग-अलग अस्पतालों में इलाज चल रहा है। आग किस वजह से लगी यह अभी स्पष्ट नहीं हो पाया है। हालांकि एजेंसी का कहना है कि अधिकारियों ने गुरुवार को आग लगने के कारणों की जांच शुरू कर दी।

नाइजीरियाई राष्ट्रपति बोला टीनुबू ने पीड़ितों के परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त की। उन्होंने स्कूलों से बच्चों की सुरक्षा को प्राथमिकता देने की अपील की। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक नाइजीरिया में स्कूलों में आग लगना आम बात नहीं है लेकिन पिछली घटनाओं के लिए सरकार को जिम्मेदार ठहराया गया जो 'सुरक्षित स्कूल पहल' की सिफारिशों को लागू करने में नाकाम रही। इन सिफारिशों को स्कूलों और छात्रों की सुरक्षा के लिए 2014 में तैयार किया गया था। टीनूबू ने नियामक अधिकारियों को निर्देश का अनुपालन सुनिश्चित करने का आदेश दिया। पिछले महीने,नाइजीरिया की राजधानी अबुजा के बाहरी इलाके में एक स्कूल में एक इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस में विस्फोट हुआ था। जिसमें दो लोगों की मौत हो गई और दो अन्य घायल हो गए।

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अमेरिका को रोकना है तो होना होगा एक- ओपेक सदस्यों से ईरानी राष्ट्रपति की अपील

ईरान के राष्ट्रपति मसूद पेजेशकियन ने पेट्रोलियम निर्यातक देशों के संगठन ओपेक के सदस्यों से एकजुट होने की अपील की है। उन्होंने कहा कि अगर सभी सदस्य एकजुटता से काम करते हैं तो अमेरिका उनमें से किसी पर भी प्रतिबंध नहीं लगा पाएगा। तेहरान में ओपेक के महासचिव हैथम अल घैस के साथ बैठक के दौरान पेजेशकियन ने कहा, "ओपेक के सदस्यों को इस तरह से काम करना चाहिए कि उससे किसी अन्य सदस्य को नुकसान न पहुंचे।" ईरानी राष्ट्रपति ने कहा, "मेरा मानना ​​है कि अगर ओपेक के सदस्य एकजुट होकर और लगातार काम करते हैं, तो अमेरिका उनमें से किसी पर प्रतिबंध नहीं लगा पाएगा और न ही उन पर दबाव डाल पाएगा।"

राष्ट्रपति के कार्यालय से जारी एक बयान में कहा गया कि बैठक के दौरान, पेजेशकियन ने ओपेक सदस्यों की एक आम भाषा, दृष्टिकोण और नीति पर पहुंचने के महत्व पर जोर दिया। उन्होंने संगठन को राजनीतिकरण से दूर रखने की भी बात कही। समाचार एजेंसी सिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, अल घैस ने संगठन में ईरान की 'रचनात्मक' भूमिका की प्रशंसा की। अल घैस ने कहा कि ओपेक ने हमेशा अपने सदस्यों के बीच सहयोग बढ़ाने की कोशिश की है ताकि उनके सामूहिक हितों की गारंटी हो सके।

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बांग्लादेश में अवामी लीग के नेताओं के घरों में तोड़फोड़

बांग्लादेश में प्रदर्शनकारियों ने बुधवार देर रात पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की अवामी लीग पार्टी के कई नेताओं के घरों में तोड़फोड़ की और देश के संस्थापक शेख मुजीबुर रहमान के भित्ती चित्रों को विरूपित किया। इससे पहले, प्रदर्शनकारियों ने मुजीबुर रहमान के ढाका स्थित आवास में तोड़फोड़ और आगजनी की थी। तोड़फोड़ और आगजनी उस समय की गई थी, जब मुजीबुर रहमान की बेटी और अपदस्थ प्रधानमंत्री हसीना लोगों को ऑनलाइन संबोधित कर रही थीं।

सोशल मीडिया पर "बुलडोजर जुलूस" के आह्वान के बाद राजधानी ढाका के धनमंडी इलाके में बुधवार को हजारों लोग मुजीबुर रहमान के आवास के बाहर इकट्ठे हो गए। उन्होंने भवन में तोड़फोड़ और आगजनी की। इसके बाद, बुल्डोजर से भवन को गिराने की प्रक्रिया शुरू की गई, जो बृहस्पतिवार सुबह तक जारी थी। मुजीबुर रहमान के धनमंडी स्थित आवास को एक स्मारक संग्रहालय में तब्दील कर दिया गया था।

‘द डेली स्टार’ अखबार की खबर के अनुसार, प्रदर्शनकारियों ने बुधवार रात धनमंडी में रोड 5 स्थित हसीना के आवास ‘सुधा सदन’ में भी आग लगा दी। प्रधानमंत्री पद से इस्तीफे के बाद हसीना के पिछले साल पांच अगस्त को देश छोड़कर चले जाने के बाद से यह घर खाली पड़ा था। खबर के मुताबिक, प्रदर्शनकारियों ने खुलना में हसीना के चचेरे भाई शेख हलाल उद्दीन और शेख सलाउद्दीन ज्वेल के घरों में भी तोड़फोड़ की। इस दौरान, उन्होंने “दिल्ली या ढाका-ढाका, ढाका” और “मुजीबवाद मुर्दाबाद” जैसे नारे लगाए। शेख हलाल बागेरहाट-1 से, जबकि शेख सलाहुद्दीन ज्वेल खुलना-2 से सांसद रह चुके हैं।

प्रदर्शनकारियों ने ढाका विश्वविद्यालय के ‘बंगबंधु शेख मुजीबुर रहमान हॉल” से रहमान का नाम हटा दिया। कुश्तिया में पूर्व सांसद और अवामी लीग के संयुक्त महासचिव महबूबुल आलम हनीफ और अवामी लीग के अध्यक्ष सदर खान के घरों में तोड़फोड़ की गई। चटगांव में प्रदर्शनकारियों ने हसीना के संबोधन के खिलाफ मशाल जुलूस निकाला। उन्होंने चटगांव मेडिकल कॉलेज और शहर के जमाल खान इलाके में शेख मुजीबुर रहमान के भित्ती चित्रों को विरूपित किया।

रंगपुर में प्रदर्शनकारियों ने गुरुवार को बेगम रुकैया विश्वविद्यालय में मुजीबुर रहमान के भित्तिचित्र को विरूपित किया। ‘प्रोथोम अलो’ अखबार की खबर के मुताबिक, मैमनसिंह में बुधवार देत रात करीब 11.30 बजे प्रदर्शनकारियों ने सर्किट हाउस मैदान के पास ‘बंगबंधु’ मुजीबुर रहमान के एक भित्तिचित्र को हथौड़ों से क्षतिग्रस्त कर दिया। चुड़ांग के उपायुक्त कार्यालय में प्रदर्शनकारियों ने शेख मुजीबुर रहमान और उनकी पत्नी फजीलातुन्नेसा मुजीब के भित्तीचित्रों को नष्ट कर दिया। वहीं, किशोरगंज के भैरब में अवामी लीग के उपजिला कार्यालय और उपजिला परिषद में मुजीबुर रहमान के भित्तीचित्र को नुकसान पहुंचाया गया।

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