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किसानों आंदोलन विपक्ष ने साधा बीजेपी पर निशाना, कहा - क्या पूंजीपतियों की तिजोरी की रक्षा के लिए है दिल्ली दरबार

किसान आंदोलन के दौरान केंद्र और बीजेपी सरकार के तानाशाही रवैये को लेकर विपक्ष ने तीखा हमला किया है। विपक्ष ने कहा कि किसानों को अब सरकार की जबान पर भरोसा नहीं रह गया है। मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस ने पूछा कि क्या सिर्फ पूंजीपतियों की तिजोरी भरने के लिए है दिल्ली दरबार?

फोटो : सोशल मीडिया
फोटो : सोशल मीडिया 

कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव और मुख्य प्रवक्ता रणदीप सिंह सुरजेवाला ने कहा कि कांग्रेस पार्टी तीनों किसान विरोधी काले क़ानूनों को ख़त्म करने को वचनबद्ध है और कांग्रेस पार्टी की सरकार बनने पर इन काले कानूनों को निरस्त कर दिया जाएगा। पानीपत में शुक्रवार को किसानों को कांग्रेस पार्टी की ओर से समर्थन व्यक्त करने के बाद सुरजेवाला ने कहा कि किसानों को हमारा खुला समर्थन था, खुला समर्थन है और रहेगा। उन्होंने कहा कि, "आज मैं भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की ओर से एक बड़ा वायदा करता हूं कि कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और हमारे नेता राहुल गांधी ने ये स्पष्ट कहा है कि जिस दिन कांग्रेस पार्टी की सरकार होगी, इन तीन काले कानूनों को निरस्त कर देंगे।"

Published: 27 Nov 2020, 10:46 PM IST

सुरजेवाला ने कहा कि इस विकट घड़ी पूरी कांग्रेस पार्टी किसानों के साथ खड़ी है। सुरजेवाला ने कहा कि कांग्रेस शुरू से इन तीनों कानूनों का विरोध करती रही है। इन कानूनों का विरोध करने के कारण संसद में उसके सांसदों को निलंबित तक होना पड़ा है। पंजाब, राजस्थान और छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकारों द्वारा वहां के किसानों को इन तीन काले कानूनों के कारण होने वाले नुकसान को रोकने और किसानों की सुरक्षा के लिए अलग कानून बनाए गए हैं। किसान किसी दल विशेष का नहीं बल्कि सभी का होता है और वह अपनी मेहनत से सभी के पेट की भूख मिटाने का काम करता है, इसलिए किसान की बात सुनी जानी चाहिए।

Published: 27 Nov 2020, 10:46 PM IST

सुरजेवाला ने कहा कि "जब गांधी जी की सत्य अहिंसा की लाठी लेकर देश के किसान निकले तो दुनिया का सबसे बड़ा ब्रिटिश साम्राज्य तिनके की तरह बिखर गया। आज फिर दिल्ली दरबार के भाजपाई अहंकारियों के ख़िलाफ़ हुंकार गूंजी है।" उन्होंने कहा कि कांग्रेस सहित इस लड़ाई में इस देश के किसान के साथ खड़े हैं और जो कुर्बानी देनी पड़ेगी, अपने भाईयों के साथ खड़े होकर देंगे, कंधे से कंधा मिलाकर देंगे। उन्होंने सवाल पूछा कि आखिर सरकार किसानों को 3 दिसंबर को क्यों बुला रही है? सरकार किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य की गारंटी दे, मोदी जी की हम सबसे पहले तारीफ करेंगे। उन्होंने कहा कि "लेकिन अगर आप किसानों को उत्पीड़ित करेंगे, रोड़े अटकाएंगे, कंटीले बाड़ लगाएंगे, लाठियां मारेंगे, अश्रु गैस मारेंगे तो यह देश को बर्दाश्त नहीं है।"

सुरजेवाला ने सरकार से सवाल पूछते हुए कहा कि क्या दिल्ली का दरबार सिर्फ पूंजीपतियों की तिजोरियों की रक्षा करने के लिए है? क्या दिल्ली की सल्तनत की नींव इस देश के किसान और खेत मजदूर ने नहीं रखी है? क्या हम जिन्होंने किसान के घर में जन्म लिया या हजारों किसान पंजाब, हरियाणा के जो आए हैं, हम उग्रवादी या अपराधी हैं ?

Published: 27 Nov 2020, 10:46 PM IST

सरकार के ज़ुबानी आश्वासन पर नहीं है किसानों को भरोसा : हुड्डा

हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री और नेता प्रतिपक्ष भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने हरियाणावासियों के लिए एक अपील जारी की है। उन्होंने अपील की है कि हरियाणावासी शांतिपूर्ण आंदोलन कर रहे किसानों की हर संभव मदद के लिए आगे आएं। हुड्डा ने कहा कि जो किसान पंजाब या हरियाणा के अलग-अलग इलाक़ों से दिल्ली की तरफ जा रहे हैं, उनके खाने-पीने की व्यवस्थाएं की जाएं। किसानों के ठहरने और सोने के लिए भी तमाम प्रबंध किए जाएं। इतना ही नहीं कड़कड़ाती ठंड, बारिश, वाटर कैनन की बौछारों या आंसू गैस के गोलों की वजह से प्रभावित जिन किसानों को डॉक्टरी सहायता या इलाज की जरूरत है, उन्हें भी हर संभव मदद पहुंचाई जाए।

भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि किसानों की मांगें पूरी तरह जायज़ हैं और वह इन मांगों का पूर्ण समर्थन करते हैं। एमएसपी की गारंटी के बिना नए कृषि क़ानून किसान हित में नहीं हो सकते।नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि सरकार के ज़ुबानी आश्वासन पर किसानों को भरोसा नहीं है। इसलिए वह इसे क़ानून की शक्ल देने की मांग कर रहे हैं।

Published: 27 Nov 2020, 10:46 PM IST

फसलों की एमएसपी पर खरीद की गारंटी की मांग जायज: अभय सिंह चौटाला

इंडियन नेशनल लोकदल के प्रधान महासचिव अभय चौटाला ने कहा कि अक्सर आंदोलनकारी रोड जाम कर अपनी मांगों को मनवाने का प्रयास करते हैं और सरकार रोड को खुलवाने के लिए आंदोलनकारियों की मांगें पूरी करती है, लेकिन ऐसा पहली बार देखने को मिल रहा है कि सरकार रोड जाम कर रही है और आंदोलनरत किसान अपनी मांगों को मनवाने के लिए रोड खुलवा रहे हैं। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा बनाए गए कृषि कानून में बदलाव कर फसलों की एमएसपी पर खरीद की गारंटी और एमएसपी पर न खरीदने वालों के खिलाफ सजा का प्रावधान करने की किसानों की मांग जायज है। सरकार को बजाय किसानों पर वाटर केनन और आंसू गैस का इस्तेमाल करने के अन्नदाता की मांगों को तुरंत प्रभाव से मान लेना चाहिए।

Published: 27 Nov 2020, 10:46 PM IST

हम सड़क से लेकर संसद तक किसानों के साथ : सैलजा

हरियाणा कांग्रेस अध्यक्ष कुमारी सैलजा ने कहा कि कांग्रेस पार्टी सड़क से लेकर सदन तक किसानों के हकों की लड़ाई लड़ रही है। बीजेपी सरकार द्वारा लाए गए यह काले कानून कृषि क्षेत्र को पूरी तरह से नष्ट कर देंगे। भाजपा सरकार पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाने वाली सरकार है। यह सूट-बूट की सरकार है। किसानों और मजदूरों को रौंदते हुए निजी क्षेत्र को बढ़ावा नहीं दिया जा सकता है।

शुक्रवार को पानीपत में कृषि विरोधी काले कानूनों के खिलाफ आंदोलन कर रहे किसानों को अपना समर्थन देते हुए उन्‍होंने यह बातें कहीं। इस दौरान उनके साथ विधायक शमशेर सिंह गोगी और पूर्व मंत्री बिजेंद्र सिंह कादयान समेत पार्टी के कई नेता मौजूद थे।

कुमारी सैलजा ने कहा कि हल निकालना सरकार का काम है। सरकार किसानों से बातचीत करती। कानून बनाने से पहले किसानों से बात की जाती। संसद में जब कानून लाए गए तो इन्हें सिलेक्ट कमेटी को भेजा जाता, ताकि वह सभी से बात करती। संगठनों से बात की जाती। लेकिन यह सरकार लगातार लोकतंत्र का गला घोंट रही है।

Published: 27 Nov 2020, 10:46 PM IST

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Published: 27 Nov 2020, 10:46 PM IST