यमन में मौत की सजा मिलने के बाद जिंदगी और मौत के बीच फंसी भारतीय नर्स निमिषा प्रिया को कानूनी सहयोग दे रहे संगठन ‘सेव निमिषा प्रिया इंटरनेशनल एक्शन काउंसिल’ के वकील ने आज सुप्रीम कोर्ट को सूचित किया कि निमिषा को तत्काल कोई खतरा नहीं है और बातचीत जारी है। इसके बाद न्यायालय ने मामले को आठ सप्ताह बाद सुनवाई के लिए सूचीबद्ध कर दिया।
न्यायमूर्ति विक्रम नाथ और न्यायमूर्ति संदीप मेहता की शीर्ष अदालत की पीठ उस याचिका पर सुनवाई कर रही है जिसमें केंद्र को केरल के पलक्कड़ की 38 वर्षीय नर्स को बचाने के लिए राजनयिक माध्यमों का उपयोग करने का निर्देश देने का अनुरोध किया गया है। निमिषा प्रिया को 2017 में अपने यमनी कारोबारी साथी की हत्या का दोषी ठहराया गया था।
Published: undefined
वकील ने कहा, ‘‘बातचीत चल रही है। फिलहाल कोई तत्काल खतरा नहीं है। कृपया इसे चार सप्ताह के लिए स्थगित कर दें। उम्मीद है कि उस समय तक सब कुछ ठीक हो जाएगा।’’ इस पर पीठ ने कहा, ‘‘इस मामले को आठ सप्ताह बाद सूचीबद्ध किया जाए।’’ याचिकाकर्ता के वकील ने कहा कि अगर कोई आवश्यकता हुई तो वह शीर्ष अदालत के समक्ष मामले का उल्लेख करेंगे।
Published: undefined
शीर्ष अदालत को पिछले महीने अवगत कराया गया था कि 16 जुलाई को होने वाली प्रिया की फांसी पर रोक लगा दी गई है। केंद्र ने 18 जुलाई को उच्चतम न्यायालय को सूचित किया कि प्रयास जारी हैं और सरकार यह सुनिश्चित करने के लिए हर संभव कोशिश कर रही है कि प्रिया सुरक्षित रहे। याचिकाकर्ता संगठन ने अनुरोध किया कि बातचीत के लिए मृतक यमनी नागरिक के परिवार से मिलने के लिए यमन जाने के लिए केंद्र एक प्रतिनिधमंडल नियुक्त करे। पीठ ने कहा कि याचिकाकर्ता सरकार को अभ्यावेदन दे सकता है।
Published: undefined
याचिकाकर्ता के वकील ने पहले कहा था कि प्रिया की मां पीड़ित परिवार के साथ बातचीत करने के लिए यमन में थीं और वह वहां गई हैं क्योंकि दिल्ली उच्च न्यायालय ने केंद्र से उन्हें यात्रा की अनुमति देने के लिए कहा था। याचिकाकर्ता ने पहले शीर्ष अदालत को बताया था कि शरिया कानून के तहत मृतक के परिवार को ‘ब्लड मनी’ (हत्या के अपराध को माफ करने के बदले पैसा ) देने की संभावना को तलाशा जा सकता है। उन्होंने कहा कि अगर ब्लड मनी का भुगतान किया जाए तो पीड़ित परिवार प्रिया को माफ कर सकता है।
Published: undefined
यमनी अदालत के दस्तावेजों के अनुसार, प्रिया ने जुलाई 2017 में तलाल अब्दो महदी को कथित तौर पर नशीला पदार्थ खिलाकर उसकी हत्या कर दी थी। प्रिया को 2017 में दोषी ठहराया गया था और 2020 में मौत की सजा सुनाई गई और 2023 में उसकी अंतिम अपील खारिज कर दी गई। वह यमन की राजधानी सना की एक जेल में कैद है।
Published: undefined
Google न्यूज़, नवजीवन फेसबुक पेज और नवजीवन ट्विटर हैंडल पर जुड़ें
प्रिय पाठकों हमारे टेलीग्राम (Telegram) चैनल से जुड़िए और पल-पल की ताज़ा खबरें पाइए, यहां क्लिक करें @navjivanindia
Published: undefined