देश

वीडियो: चंद्रयान-2 का लॉन्च, जानिए मिशन के वो 15 सबसे मुश्किल मिनट के बारे में जब धड़कनें थम जाएंगी

भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) का दूसरा मून मिशन चंद्रयान-2 आज दोपहर 2 बजकर 43 मिनट पर लॉन्च किया जाएगा। इस बेहद कठिन मिशन को लक्ष्य तक पहुंचाना किसी करिश्मे से कम नहीं होगा।

फोटो: सोशल मीडिया
फोटो: सोशल मीडिया 

भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) का दूसरा मून मिशन चंद्रयान-2 आज दोपहर 2 बजकर 43 मिनट पर लॉन्च किया जाएगा। इस बेहद कठिन मिशन को लक्ष्य तक पहुंचाना किसी करिश्मे से कम नहीं होगा। इस मिशन के सबसे तनावपूर्ण क्षण चांद पर लैंडिंग से पहले के 15 मिनट होंगे। खुद भारतीय अंतरिक्ष एजेंसी इसरो के चीफ के सिवन ने कहा है कि लैंडिंग के अंतिम 15 मिनट बेहद चुनौतीपूर्ण रहेंगे क्योंकि उस दौरान हम ऐसा कुछ करेंगे जिसे हमने अभी तक कभी नहीं किया है। याद हो कि 15 जुलाई को क्रायोजेनिक इंजन में लीकेज के कारण चंद्रयान-2 की लॉन्चिंग अंतिम क्षणों में टालनी पड़ी थी।

Published: 22 Jul 2019, 1:06 PM IST

सिवन ने कहा, 'चंद्रमा की सतह से 30 किलोमीटर दूर चंद्रयान-2 की लैंडिंग के लिए इसकी स्पीड कम की जाएगी। विक्रम को चांद की सतह पर उतारने का काम काफी मुश्किल होगा। इस दौरान का 15 मिनट काफी चुनौतीपूर्ण होने वाला है। हम पहली बार सॉफ्ट लैंडिंग की करेंगे। यह तनाव का क्षण केवल इसरो ही नहीं बल्कि सभी भारतीयों के लिए होगा।' सॉफ्ट लैंडिंग में सफलता मिलते ही भारत ऐसा करने वाला दुनिया का चौथा देश बन जाएगा। अभी तक अमेरिका, रूस और चीन के पास ही यह विशेषज्ञता है।

धरती और चंद्रमा के बीच की दूरी लगभग 3 लाख 84 हजार किलोमीटर है। लॉन्चिंग के बाद चंद्रमा के लिए लंबी यात्रा शुरू होगी। चंद्रयान-2 में लैंडर-विक्रम और रोवर-प्रज्ञान चंद्रमा तक जाएंगे। चांद की सतह पर उतरने के 4 दिन पहले रोवर 'विक्रम' उतरने वाली जगह का मुआयना करना शुरू करेगा। लैंडर यान से डिबूस्ट होगा। 'विक्रम' सतह के और नजदीक पहुंचेगा। उतरने वाली जगह की स्कैनिंग शुरू हो जाएगी और फिर 6-8 सितंबर के बीच शुरू होगी लैंडिंग की प्रक्रिया। लैंडिंग के बाद लैंडर (विक्रम) का दरवाजा खुलेगा और वह रोवर (प्रज्ञान) को रिलीज करेगा। रोवर के निकलने में करीब 4 घंटे का समय लगेगा। फिर यह वैज्ञानिक परीक्षणों के लिए चांद की सतह पर निकल जाएगा। इसके 15 मिनट के अंदर ही इसरो को लैंडिंग की तस्वीरें मिलनी शुरू हो जाएंगी।

चंद्रयान-2 की लॉन्चिंग 'बाहुबली' जीएसएलवी मार्क-।।। से होगी 4 टन तक का भार (पेलोड) ले जाने की अपनी क्षमता के कारण 'बाहुबली' कहे जा रहे जीएसएलवी मार्क-।।। रॉकेट ने जीसैट-29 और जीसैट-19 उपग्रहों का सफल प्रक्षेपण किया है।

Published: 22 Jul 2019, 1:06 PM IST

Google न्यूज़नवजीवन फेसबुक पेज और नवजीवन ट्विटर हैंडल पर जुड़ें

प्रिय पाठकों हमारे टेलीग्राम (Telegram) चैनल से जुड़िए और पल-पल की ताज़ा खबरें पाइए, यहां क्लिक करें @navjivanindia

Published: 22 Jul 2019, 1:06 PM IST