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राष्ट्रीय सुरक्षा पर कांग्रेस का विजन डॉक्यूमेंट, ‘सर्जिकल स्ट्राइक’ के हीरो ने ‘सुरक्षित भारत’ के बारे में बताया

जनरल डीएस हुड्डा ने कहा का राष्ट्रीय सुरक्षा पर रणनीति बनाते वक्त हमने सोचा था कि हमें एक समग्र रूप से राष्ट्रीय सुरक्षा पर रूप-रेखा देनी चाहिए। तभी एक अच्छी रणनीति बन सकती है। चर्चा के दौरान हमने फैसला किया कि हमारी राष्ट्रीय सुरक्षा के पांच पिलर होंगे।

फोटो: सोशल मीडिया
फोटो: सोशल मीडिया 

‘सर्जिकल स्ट्राइक’ के ‘हीरो’ रहे रिटायर्ड लेफ्टिनेंट जनरल डीएस हुड्डा द्वारा राष्ट्रीय सुरक्षा पर पेश किए गए विजन डॉक्यूमेंट को कांग्रेस पार्टी ने ‘सुरक्षित भारत’ के नाम से जारी कर दिया है। कांग्रेस पार्टी ने ‘सुरक्षित भारत’ में बताया है कि केंद्र में सरकार बनने के बाद वह राष्ट्रीय सुरक्षा को और कैसे मजबूत करेगी।

दिल्ली में कांग्रेस मुख्यालय में एक प्रेस कांफ्रेंस कर कांग्रेस ने राष्ट्रीय सुरक्षा पर विजन डॉक्यूमेंट जारी किया। इस मौके पर लेफ्टिनेंट जनरल डीएस हुड्डा, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम और जयराम रमेश मौजूद थे। विजन डॉक्यूमेंट में क्या है, इस बारे में लेफ्टिनेंट जनरल डीएस हुड्डा ने प्रेस को विस्तृत जानकारी दी। जनरल डीएस हुड्डा ने कहा कि कांग्रेस ने राष्ट्रीय सुरक्षा पर एक टॉस्क फोर्स बना था, जिसका इंचार्ज मैं था। मैंने कुछ हफ्ते पहले टास्क फोर्स की रिपोर्ट कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी को सौंपी थी।

जनरल डीएस हुड्डा ने कहा, “ जनरल डीएस हुड्डा ने कहा का राष्ट्रीय सुरक्षा पर रणनीति बनाने के दौरान हमने सोचा था कि हमें एक समग्र रूप से राष्ट्रीय सुरक्षा पर रूप-रेखा देनी चाहिए। तभी एक अच्छी रणनीति बन सकती है। चर्चा के दौरान हमने फैसला किया कि हमारी राष्ट्रीय सुरक्षा के पांच पिलर होंगे। जो सबसे पहला पिलर होगा वह यह है कि भारत की विश्व में जगह कैसी होनी चाहिए।”

उन्होंने कहा, “पड़ोसी देशों से भारत के संबंध किस दिशा में चलनी चाहिए। संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में हमारी एक स्थायी सीट होनी चाहिए। हमारा संबंध मध्य पूर्व और बाकी देशों के साथ किस दिशा में चलनी चाहिए। यह पहले पिलर का हिस्सा था।”

जनरल हुड्डा ने कहा, “जो हमारा पड़ोस है वह सुरक्षित रहना चाहिए। इसलिए हमारे संबंध चीन के साथ किस तकरीके से होने चाहिए। पकिस्तान के साथ संबंधन हम किस तरह से लंबी दूरी के लिए देखते हैं। अगर पाकिस्तान आतंक को इसी तरह समर्थन करता रहा तो किस तरह से उसके ऊपर दबाव बनाया जाए। बांग्लादेश, श्रीलंका इन पड़ोसी देशों के साथ हमारे संबंध किस प्रकार के होने चाहिए, इसपर हमने विचार किया। साउथ एशिया किस तरह से सुरक्षित रहे, इन सारी बातों को लेकर हमने सुझाव दिए हैं।”

उन्होंने ‘सुरक्षित भारत’ के तीसरे अहम हिस्से के बारे में जानकारी देते हुए कहा, “आंतरिक सुरक्षा से जुड़ी जो परेशानि हैं, उनका शांतिपूर्ण ढंग से कैसे हल निकाला जाए इस पर हमने फोकस किया। जम्मू-कश्मीर, उत्तर-पूर्व, माओवादियों से जुड़ी परेशानियां, इन मामलों में भी हमने सुझा दिए हैं। किस तरह से इन परेशानियों का शांतिपूण ढंग से हाल निकाला जा सकता है विजन डॉक्यूमेंट में हमने सुझाव दिए हैं।”

जनरल हुड्डा ने कहा, “चौथा अहम मुद्दा जो था वह जन सुरक्षा से जुड़ा था। हम जब राष्ट्रीय सुरक्षा की बात करते हैं तो सीमा को देखते हैं। अपने पड़ोसी देश को देखते हैं। आंतरिक सुरक्षा से जुड़ी परेशानी को देखते हैं। लेकिन जो हमारी आम जनता है, उसके बारे में हम नहीं सोचते। लेकिन आम जनता का हिस्सा राष्ट्रीय सुरक्षा में बहुत अहम है। इस बारे में भी हमने कई जरूरी सुझाव दिए हैं।”

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उन्होंने कहा, “आखरी पिलर था अपनी क्षमता कैसे बढ़ाई जाए। इसमें हमने देखा कि बॉर्डर मैनेजमेंट कैसे अच्छा किया जा सकता है। हमारी सेना की क्षमता किस तरह से और बढ़ाई जा सकती है। इसके अलावा पुलिस, खुफिया, साइबर, स्पेस और न्यूक्लियर। इन सभी मुद्दों पर हमने एक विस्तृत रिपोर्ट तैयार की और कांग्रेस अध्यक्ष को सौंप दिया।”

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