राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गुरुवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को रामनवमी के दौरान करौली और अन्य राज्यों में हुई हिंसा की जांच के लिए एक समिति गठित करने की चुनौती दी है।
Published: 05 May 2022, 6:00 PM IST
उन्होंने कहा कि समिति की अध्यक्षता उच्चतम न्यायालय और उच्च न्यायालय के न्यायाधीश द्वारा की जानी चाहिए, जो हिंसा के पीछे 'मूल कारण' की जांच करेगी। उन्होंने बीजेपी-आरएसएस पर युवा पीढ़ियों की मासूमियत को भुनाने और हिंसा को बढ़ावा देने का भी आरोप लगाया, क्योंकि वे हमारे स्वतंत्रता संग्राम के इतिहास से अनजान हैं।
Published: 05 May 2022, 6:00 PM IST
उन्होंने कहा, "हमने रूस को ध्वस्त होते देखा है। हालांकि, हमारा देश पिछले 70 वर्षों के दौरान कई भाषाओं और धर्मों के बावजूद मजबूत रहा है। इंदिरा गांधी ने अपने जीवन का बलिदान दिया, लेकिन खालिस्तान के गठन की अनुमति नहीं दी। राजीव गांधी ने भी देश के लिए अपना बलिदान दिया।"
Published: 05 May 2022, 6:00 PM IST
सीएम गहलोत ने आगे कहा, "ये वो लोग थे जिन्होंने 70 साल में देश को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया। हालांकि, वर्तमान पीढ़ी स्वतंत्रता संग्राम के दौरान की स्थिति से अनजान है जिसे भाजपा-आरएसएस द्वारा भुनाया जा रहा है। वे एजेंडा तय कर रहे हैं और हिंसा भड़का रहे हैं।"
Published: 05 May 2022, 6:00 PM IST
उन्होंने कहा, "पहले, यह करौली में हुआ, फिर राजगढ़ (जहां मंदिर पर बुलडोजर चला था) और अब जोधपुर। हमारी समय पर कार्रवाई ने राज्य में दंगों को रोका है।"
रामनवमी हिंसा पर मुख्यमंत्री ने कहा कि एक बार कारणों का पता चल जाए तो भविष्य में ऐसी घटनाओं पर अंकुश लगाया जा सकता है।
आईएएनएस के इनपुट के साथ
Published: 05 May 2022, 6:00 PM IST
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Published: 05 May 2022, 6:00 PM IST