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पेगासस पर मोदी सरकार खामोश, पर इजरायल में होगी जांच, देश में इस्तेमाल के आरोपों पर सरकार ने लिया फैसला

ताजा आरापों ने इजरायल के भीतर एनएसओ उत्पादों के उपयोग के बारे में बढ़ती चिंताओं को एक बार फिर सामने ला दिया है। लंबे समय तक इजरायल में यह माना जा रहा था कि इस उपकरण का उपयोग देश में अपने ही नागरिकों के खिलाफ नहीं किया जाएगा।

फोटोः IANS
फोटोः IANS 

इजरायल सरकार ने कहा है कि अदालत के आदेश के बिना नागरिकों के फोन पर पुलिस द्वारा पेगासस उपकरण से निगरानी किए जाने के मामले की जांच की जाएगी। न्यूयार्क टाइम्स के अनुसार प्रधानमंत्री नेफ्ताली बेनेट ने सोमवार को कहा कि इस तरह के दावों के बाद डिप्टी एटॉर्नी मामले पर निगरानी रख रहे हैं और सुरक्षा मामलों के मंत्री उमर बारलेव ने कहा है कि वह इस मामले में आधिकारिक जांच शुरू करेंगे।

रिपोर्ट में कहा गया है कि इजरायली फर्म एनएसओ के इन सुरक्षा उत्पादों ने छह वर्ष पहले विश्व का ध्यान अपनी तरफ आकर्षित करना शुरू किया था और अब इस विवाद में इजरायल सरकार का हस्तक्षेप करना काफी अहम माना जा रहा है।

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देश में पुलिस की ओर से लोगों की जासूसी करने के इन आरोपों के कारण पूर्व प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के भ्रष्टाचार के मुकदमे में थोड़ी देरी हुई है। इस तरह के दावे किये जा रहे हैं कि पुलिस ने इस मामले के एक अहम गवाह का फोन अवैध रूप से हैक किया था। न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, इस विवाद के सामने आने के बाद नेतन्याहू के सहयोगियों ने मुकदमे को पूरी तरह से खत्म करने की मांग की है।

इस कदम ने इजरायल के भीतर एनएसओ उत्पादों के उपयोग के बारे में बढ़ती चिंताओं को एक बार फिर सामने ला दिया है। इसी तरह की आशंकाओं के कारण अमेरिका ने इसे अपने यहां ब्लैकलिस्टेड कर दिया था। लंबे समय तक इजरायल में यह माना जा रहा था कि इस उपकरण का उपयोग देश में अपने ही नागरिकों के लिए नहीं किया जाएगा।

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समाचार संगठनों और निगरानी समूह ने उजागर किया है कि कैसे एनएसओ के प्रमुख उत्पाद, पेगासस को इजरायली रक्षा मंत्रालय की अनुमति से सत्तारूढ़ सरकारों को बेचा गया, जिन्होंने इसका इस्तेमाल विदेशी कार्यकर्ताओं, वकीलों और राजनेताओं के फोन हैक करने के लिए किया था। फिलिस्तीनी अधिकारियों ने इजरायल सरकार पर फलस्तीनियों के खिलाफ स्पाइवेयर का उपयोग करने का भी आरोप लगाया है।

न्यूयॉर्क टाइम्स ने हाल ही में बताया कि कैसे नेतन्याहू की सरकार ने इन उत्पादों की बिक्री का इस्तेमाल विदेशों से राजनीतिक लाभ लेने के लिए किया था। हालांकि इस दावे से नेतन्याहू ने इनकार किया है। न्यूयॉर्क टाइम्स ने यह भी पाया कि अमेरिकी सरकार ने पिछले साल कंपनी को गैरकानूनी घोषित करने से पहले एनएसओ स्पाइवेयर खरीदा था, लेकिन इस्तेमाल नहीं किया।

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इजरायल के भीतर, कंपनी और उसके उत्पादों की ओर लोगों का ध्यान कम ही रहा है लेकिन जब कैल्कलिस्ट दैनिक समाचार पत्र के नेतृत्व में इजरायली मीडिया फर्मो ने पिछले महीने इस दावे पर रिपोर्ट करना शुरू किया कि इजरायली पुलिस ने इजरायली कार्यकर्ताओं के फोन से जानकारी और डेटा निकालने के लिए पेगासस का उपयोग किया था तो इस मामले ने तूल पकड़ा है। रिपोर्ट में कहा गया है कि पुलिस ने स्थानीय राजनेताओं व्यवसायी, सिविल सेवकों और नेतन्याहू के आलोचकों और सहयोगियों की इस उपकरण के जरिए जासूसी की थी।

समाचार पत्र ने बताया कि पुलिस पर या तो न्यायिक अनुमति को पूरी तरह से दरकिनार करने या न्यायाधीशों की तरफ से केवल वॉयस कॉल की निगरानी के लिए इसके उपयोग की अनुमति मिलने के बाद जासूसी करने का आरोप लगा है। पिछले साल जून में पदभार संभालने वाले बेनेट के तहत नई इजरायली सरकार के अधिकारियों ने शुरू में इन दावों का खंडन किया। लेकिन बाद में उन्होंने अस्पष्ट बयान जारी किए जिसमें अधिकारियों ने स्वीकार किया कि वे रिपोर्ट के अनुसार संभावित अनियमितताओं को देख रहे हैं।

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बेनेट ने सोमवार को कहा कि पेगासस के बारे में अगर वे रिपोर्ट सच हैं, तो बहुत गंभीर हैं। उन्होंने कहा कि पेगासस जैसे स्पाइवेयर उत्पाद, आतंकवाद और गंभीर अपराध के खिलाफ लड़ाई में महत्वपूर्ण उपकरण हैं, लेकिन उनका इरादा इजरायली जनता या अधिकारियों को लक्षित करने का नहीं था। यही कारण है कि हमें वास्तव में यह समझने की आवश्यकता है कि आखिर वास्तव में हुआ क्या है।

द न्यूयॉर्क टाइम्स ने बताया कि नेतन्याहू की पार्टी के एक प्रमुख सांसद इजराइल काट्ज ने कहा है कि इन आरोपों का मतलब है कि संसदीय जांच के नतीजे आने तक नेतन्याहू के मुकदमे को रोक दिया जाना चाहिए। लेकिन वर्तमान मंत्रियों ने इस बात पर भी जोर दिया है कि नेतन्याहू की सरकार के कार्यकाल के दौरान किस प्रकार अन्य लोगों की वायरटैपिंग हुई थी।

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