गंभीर राजनीतिक और आर्थिक संकट में घिरे श्रीलंका में जारी हिंसा के बीच पूर्व प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे आज शाम देश के नए प्रधानमंत्री के रूप में शपथ लेंगे। विक्रमसिंघे स्थानीय समयनुसार शाम छह बजे राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे के समक्ष शपथ लेंगे। विक्रमसिंघे रिकॉर्ड छठी बार प्रधानमंत्री पद संभालेंगे।
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भोजन, ईंधन, दवा, रसोई गैस और घंटों बिजली कटौती सहित आवश्यक चीजों की कमी से जुड़े गंभीर वित्तीय संकट के बीच प्रदर्शनकारी राजपक्षे सरकार और राष्ट्रपति के इस्तीफे की मांग कर रहे हैं। सरकार समर्थकों और विरोधी प्रदर्शनकारियों के बीच हिंसक झड़पों के बाद दो दिन पहले पूर्व प्रधानमंत्री महिंदा राजपक्षे ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया था।
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इसके बाद पैदा हुए राजनीतिक गतिरोध के बीच बुधवार रात को राष्ट्र को संबोधित करते हुए राष्ट्रपति गोटाबाया ने घोषणा की कि उनके भाई महिंदा और उनकी सरकार द्वारा खाली किए गए पदों को जल्द भरा जाएगा। गोटाबाया ने यह भी कहा कि वह कार्यकारी अध्यक्ष की 19वीं संशोधन की शक्तियों को फिर से शुरू करने पर काम करेंगे, जो उन्हें स्वयं प्राप्त है और संसद को अधिक शक्तियां प्रदान करेंगे।
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राष्ट्रपति गोटाबाया ने राष्ट्रपति प्रणाली को समाप्त करने पर भी सहमति व्यक्त की। गोटाबाया राजपक्षे ने कहा कि नई सरकार एक ऐसे प्रधानमंत्री द्वारा चलाई जाएगी जो संसद में बहुमत हासिल कर सके। इसके एक दिन बाद आज गोटाबाया ने रानिल विक्रमसिंघे को प्रधानमंत्री नियुक्त करने का ऐलान कर दिया।
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