नौसेना से हटाए गए ऐतिहासिक युद्धपोत आईएनएस विराट को तोड़ने पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगा दी है। कोर्ट ने कहा फिलहाल यथास्थिति बरकरार रहेगी। इसके साथ ही कोर्ट ने खरीदने वाले को नोटिस भी जारी किया है। आईएनएस विराट को गुजरात के भावनगर के श्रीराम ग्रुप ने खरीदा था और उसे कबाड़ के तौर पर तोड़ा जा रहा है। इसके बाद एनविटेक मरीन कंसल्टेंट्स लिमिटेड नाम की कंपनी ने 100 करोड़ रुपये का भुगतान कर आईएनएस विराट को बतौर संग्रहालय संरक्षित करने की मांग की थी। बता दें कि साल 2007 में भारतीय नौसेना के इस विमानवाहक युद्धपोत ‘आईएनएस विराट’ को रिटायर कर दिया गया था।
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करीब 30 साल भारतीय नौसेना की शान रहे आइएनएस विराट को छह मार्च, 2017 को भारतीय नेवी की सेवा से मुक्त कर दिया गया था। ये जहाज भारत से पहले ब्रिटेन की रॉयल नेवी में एचएमएस हर्मिस के रूप में 25 साल तक अपनी सेवाएं दे चुका था। इसके बाद 1987 में INS विराट को इंडियन नेवी में शामिल किया गया।
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