राजनीति Rajneeti

राम रहीम पर बीजेपी के दावे झूठे, मनमोहन ने सख्ती से करवाई थी शिकायतों की जांच

राम रहीम को सजा दिलाने के मामले में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की भूमिका का तो किसी को पता नहीं, लेकिन पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की भूमिका जरूर थी। 

गुरमीर राम रहीम/फोटेः getty images
गुरमीर राम रहीम/फोटेः getty images 

डेरा सच्चा सौदा प्रमुख राम रहीम को अदालत से सजा मिलने के बाद सोशल मीडिया पर बीजेपी-आरएसएस के लोग इसका श्रेय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को देने की कोशिश कर रहे हैं। इसे लेकर भ्रम फैलाने वाले पोस्ट किए जा रहे हैं। लेकिन असल में सच्चाई ठीक इसके उलट है। राम रहीम को सजा दिलाने के मामले में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की भूमिका का तो किसी को पता नहीं, लेकिन पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की भूमिका जरूर थी।

दरअसल, राम रहीम पर लगे यौन शोषण के आरोपों की पूरी जांच सीबीआई के तत्कालीन डीआईजी एम नारायणन ने की थी। सोशल मीडिया पर झूठे दावों के बीच एम नारायणन ने सामने आकर सच्चाई सबके सामने रख दी है। नारायणन के मुताबिक उस समय राम रहीम के खिलाफ जांच नहीं करने के लिए बहुत ज्यादा दबाव था, लेकिन उस समय प्रधानमंत्री रहे डॉ मनमोहन सिंह ने इस मामले में दिलचस्पी दिखाते हुए सभी राजनीतिक दबावों को नजरअंदाज कर जांच जारी रखने को कहा था। सीबीआई द्वारा किए गए निष्पक्ष जांच का ही यह नतीजा है कि आज राम रहीम अपने किए की सजा भुगत रहा है।

नारायणन ने बताया कि राम रहीम को बचाने के लिए पंजाब और हरियाणा के सांसदों का इतना ज्यादा दबाव था कि मनमोहन सिंह ने तत्कालीन सीबीआई निदेशक विजय शंकर को तलब कर पूरे मामले की जानकारी ली थी। उस मुलाकात के बाद सीबीआई ने अपना काम बिना किसी दबाव के किया।

नारायणन के इस बयान के बाद वैसे लोगों को बड़ा तमाचा लगा है जो मनमोहन सिंह की ईमानदारी और कानून और सत्य के प्रति निष्ठा पर कीचड़ उछाल कर खुद के दामन पर लगे दागों को छुपाने की कोशिश कर रहे थे। करीब 17 साल पुराने यौन शोषण के मामले में सीबीआई की विशेष कोर्ट ने सोमवार को दो रेप मामले में राम रहीम को 10-10 साल की सजा सुनाई है।

Published: undefined

Google न्यूज़नवजीवन फेसबुक पेज और नवजीवन ट्विटर हैंडल पर जुड़ें

प्रिय पाठकों हमारे टेलीग्राम (Telegram) चैनल से जुड़िए और पल-पल की ताज़ा खबरें पाइए, यहां क्लिक करें @navjivanindia

Published: undefined