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नितिन गडकरी ने कोरोना वैक्सीन के प्रोडक्शन को बढ़ाने का दिया ये सुझाव तो जयराम रमेश बोले- क्या आपके बॉस सुनेंगे?

कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने देश में कोहराम मचा हुआ है। ऑक्सीजन और दवाइंयो की कमी के चलते कई लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी है। वहीं कोरोना के खिलाफ लड़ाई में वैक्सीन को सबसे बड़ा हथियार माना जा रहा है।

फोटो: सोशल मीडिया
फोटो: सोशल मीडिया 

कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने देश में कोहराम मचा हुआ है। ऑक्सीजन और दवाइंयो की कमी के चलते कई लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी है। वहीं कोरोना के खिलाफ लड़ाई में वैक्सीन को सबसे बड़ा हथियार माना जा रहा है। लेकिन टीकों की कमी की वजह से वैक्सीनेशन का काम पूरी रफ्तार से नहीं चल पा रहा है। वैक्सीन बनाने वाली कंपनियों ने भी इतनी मात्रा में टीका उपलब्ध कराने में असमर्थता जताई है। इस बीच केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने मोदी सरकार को वैक्सीन का उत्पादन बढ़ाने के लिए सलाह दी है। गडकरी ने कहा कि कोरोना रोधी टीके का उत्पादन बढ़ाने के लिये कुछ और दवा कंपनियों को इसके उत्पादन की मंजूरी दी जानी चाहिए। हालांकि, इस पर कांग्रेस ने तंज कसते हुए कहा है कि कभी यही सलाह मनमोहन सिंह ने दी थी, लेकिन क्या उनके बॉस सुन रहे हैं।

Published: 19 May 2021, 4:02 PM IST

नितिन गडकरी के सुझाव वाले वीडियो को अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर शेयर करते हुए कांग्रेस के दिग्गज नेता जयराम रमेश ने बिना नाम लिए नरेंद्र मोदी पर तंज कसा और कहा, 'क्या उनके बॉस यह सुन रहे हैं? 8 अप्रैल को डॉ मनमोहन सिंह ने भी ऐसा ही सुझाव दिया था।'

Published: 19 May 2021, 4:02 PM IST

दरअसल, नितिन गडकरी ने कहा था कि वह प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से इस बारे में आग्रह करेंगे कि देश में जीवन रक्षक दवाओं का उत्पादन बढ़ाने के लिये और दवा कंपनियों को मंजूरी देने के लिये कानून बनाया जाना चाहिये। इसमें दवा के पेटेंट धारक को अन्य दवा कंपनियों द्वारा 10 प्रतिशत रॉयल्टी देने की व्यवस्था की जानी चाहिये।

Published: 19 May 2021, 4:02 PM IST

उन्होंने कहा, 'यदि टीके की आपूर्ति के मुकाबले उसकी मांग अधिक होगी तो इससे समस्या खड़ी होगी। इसलिये एक कंपनी के बजाय 10 और कंपनियों को टीके का उत्पादन करने में लगाया जाना चाहिये। इसके लिये टीके के मूल पेंटेंट धारक कंपनी को दूसरी कंपनियों द्वारा दस प्रतिशत रॉयल्टी का भुगतान किया जाना चाहिये।'

Published: 19 May 2021, 4:02 PM IST

उस वक्त भी कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने ट्वीट कर कहा था, “मोदी की टीकाकरण नीति, खासतौर से 18 से 44 आयुवर्ग के लिए कोई वास्तव में कोई नीति नहीं है। बल्कि सबसे बुरा यह है कि यह सबसे ज्यादा अन्यायी है।” कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने इस दौरान तीन कारण गिनाए हैं।” उन्होंने कहा, “वैक्सीन की बड़े पैमाने पर कमी, कोविन बुकिंग को अनिवार्य करने के चलते बड़ी संख्या में लोग छूट गए हैं।’ उन्होंने कहा, “सरकार की तरफ से सुप्रीम कोर्ट को दिए गए हलफनामे के मुताबिक, केंद्र को आवंटित की गईं 50 प्रतिशत वैक्सीन निजी अस्पतालों के लिए हैं।”

Published: 19 May 2021, 4:02 PM IST

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Published: 19 May 2021, 4:02 PM IST