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सोनिया ने इंदिरा गांधी को दी श्रद्धांजलि, राहुल बोले- सशक्त नेतृत्व और अद्भुत प्रबंधन क्षमता की धनी थीं दादी

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के अलावा पूर्व पीएम मनमोहन सिंह, देश के पूर्व राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी और पूर्व उप-राष्ट्रपति मोहम्मद हामिद अंसारी समेत कांग्रेस के कई नेताओं ने भी शक्ति स्थल पर पहुंचकर इंदिरा गांधी को श्रद्धांजलि दी।

फोटो: INCIndia
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देश की पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की आज 102वीं जयंती है। इस मौके पर कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने शक्ति स्थल पर पहुंच कर इंदिरा गांधी को श्रद्धासुमन अर्पित किए।

Published: 19 Nov 2019, 9:38 AM IST

सोनिया गांधी के अलावा पूर्व पीएम मनमोहन सिंह, देश के पूर्व राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी और पूर्व उप-राष्ट्रपति मोहम्मद हामिद अंसारी समेत कांग्रेस के कई नेताओं ने भी शक्ति स्थल पर पहुंचकर इंदिरा गांधी को श्रद्धांजलि दी।

Published: 19 Nov 2019, 9:38 AM IST

देश की पहली महिला प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी को उनकी जयंती पर पीएम मोदी ने भी श्रद्धांजलि दी है।

Published: 19 Nov 2019, 9:38 AM IST

इस मौके पर कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपनी दादी इंदिरा गांधी को याद किया। उन्होंने ट्वीट कर कहा, “सशक्त, समर्थ नेतृत्व और अद्भुत प्रबंधन क्षमता की धनी, भारत को एक सशक्त देश के रूप में स्थापित करने में अहम भूमिका रखने वाली लौह-महिला और मेरी प्यारी दादी स्व० श्रीमती इंदिरा गांधी जी की जयंती पर शत् शत् नमन।”

Published: 19 Nov 2019, 9:38 AM IST

देश के पहले प्रधानमंत्री पंडित जवाहर लाल नेहरू की बेटी इंदिरा का जन्म 19 नवंबर 1917 को हुआ था। 1966 से 1977 और फिर 1980 से 1984 में अपने निधन तक वह प्रधानमंत्री रहीं। वह अपने पिता जवाहर लाल नेहरू के बाद सबसे ज्यादा वक्त तक प्रधानमंत्री रहने के मामले में दूसरे पायदान पर हैं।

Published: 19 Nov 2019, 9:38 AM IST

इंदिरा ने देश ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया पर अपनी अमिट छाप छोड़ी और उनके व्यक्तित्व की मिसालें दी जाती हैं। इंदिरा गांधी भी एक ऐसा ही नाम है, जिन्हें उनके निर्भीक फैसलों और दृढ़निश्चय के चलते लौह महिला कहा जाता है। इंदिरा गांधी के कार्यकाल में 1971 की जंग में भारत ने पाकिस्तान को बुरी तरह हराया था। पूर्वी पाकिस्तान को पाकिस्तान के दमन और अत्याचार से मुक्त कराने का श्रेय इंदिरा को ही जाता है। 1971 की जंग में पाकिस्तान के करीब एक लाख सैनिकों ने भारतीय सेना के सामने आत्मसमर्पण किया था। उसी युद्ध के बाद बांग्लादेश का जन्म हुआ।

Published: 19 Nov 2019, 9:38 AM IST

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Published: 19 Nov 2019, 9:38 AM IST