वायु प्रदूषण की गंभीर होती समस्या के बीच हरियाणा सरकार ने गुरुग्राम और फरीदाबाद समेत राज्य के 14 जिलों में पटाखों पर पूर्ण पाबंदी लगा दी है। सरकार के फरमान में कहा गया है कि दीपावली, गुरुपुरब, कार्तिक पूर्णिमा, क्रिसमस और नए साल पर अकसर लोग आतिशबाजी करते हैं। इससे कोविड-19 के बीच आतिशबाजी से वायु प्रदूषण बढ़ने के कारण सर्दी के मौसम में बुजुर्ग, बच्चों और सह-रूग्णता वाले लोगों को सांस की समस्या हो सकती है। इसके साथ-साथ यह कोराना मरीजों के स्वास्थ्य पर भी प्रभाव डाल सकता है।
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सर्दी के दस्तक देने के साथ ही हर साल दिल्ली की हवा जहरीली होनी आरंभ हो जाती है। इसमें हरियाणा का भी बड़ा योगदान रहता है, जिसे लेकर सरकार पर सवाल उठते हैं। अदालत ने इस पर बेहद सख्त रुख अपनाया है। इसी के मद्देनजर प्रदेश में पटाखों की बिक्री और इस्तेमाल को लेकर हरियाणा राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने दिशा निर्देश जारी किए हैं। इसमें कहा गया है कि दीपावली से लेकर क्रिसमस और नव वर्ष पर लोग आतिशबाजी करते हैं। इससे लोगों के स्वास्थ्य पर विपरीत प्रभाव पड़ता है। एनजीटी और सुप्रीम कोर्ट के विभिन्न निर्देशों के अनुपालन में राज्य आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 की धारा 24 के तहत सरकार ने पाबंदियां लगाई हैं।
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राज्य सरकार के एक प्रवक्ता ने बताया कि एनसीआर के सभी 14 जिलों भिवानी, रोहतक, सोनीपत, चरखी दादरी, फरीदाबाद, गुरुग्राम, झज्जर, जींद, करनाल, महेंद्रगढ़, नूंह, पलवल, पानीपत और रेवाड़ी में सभी प्रकार के पटाखों की बिक्री या उपयोग पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा। साथ ही यह निर्देश राज्य के उन सभी शहरों व कस्बों पर भी लागू होंगे जहां पिछले साल नवंबर के दौरान वायु गुणवत्ता का औसत खराब और उससे ऊपर की श्रेणी का था। जिन शहरों व कस्बों में वायु गुणवत्ता "मध्यम या कम" है, वहां केवल हरे पटाखे बेचे जा सकेंगे। इसके अलावा इन शहरों-कस्बों में दीपावली व अन्य त्यौहारों पर पटाखे फोड़ने का समय केवल रात 8 बजे से रात 10 बजे तक होगा। छठ पूजा पर पटाखे फोड़ने का समय सुबह 6 बजे से सुबह 8 बजे तक रहेगा। जबकि क्रिसमस और नए साल की पूर्व संध्या पर आतिशबाजी का समय आधी रात के आसपास 11.55 से सुबह 12:30 बजे रहेगा।
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प्रवक्ता ने बताया कि हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड उपरोक्त शहरों और कस्बों की सूची अलग से जारी करेगा। जिन क्षेत्रों में पटाखों के उपयोग और फोड़ने की अनुमति है वहां सामुदायिक फायर क्रैकिंग को बढ़ावा दिया जाएगा। इन विशेष क्षेत्रों (सामुदायिक फायर क्रैकिंग) की संबंधित अधिकारियों द्वारा पहले से पहचान कर ली जाएगी तथा इसकी जानकारी लोगों तक प्रचारित की जाएगी। शादियों और अन्य अवसरों पर केवल हरे पटाखों के इस्तेमाल की अनुमति है।
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प्रवक्ता ने बताया कि पटाखों की बिक्री केवल लाइसेंसधारी व्यापारियों के माध्यम से ही होगी। फ्लिपकार्ट, अमेजन आदि कोई भी ई-कॉमर्स वेबसाइट किसी भी ऑनलाइन ऑर्डर को स्वीकार नहीं करेगी। हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड 14 दिनों के लिए शहरों में अल्पकालिक निगरानी करेगा। प्रदूषण बोर्ड पटाखों को फोड़ने के संबंध में सीपीसीबी द्वारा प्रस्तावित वायु गुणवत्ता मानदंड मूल्यों (एएक्यूसीवीएस) के खिलाफ नियामक मानकों के अलावा, एल्युमीनियम, बेरियम, आयरन की अल्पकालिक निगरानी करेगा। इससे पटाखों के फोड़ने से होने वाले प्रदूषण के आंकड़े तैयार करने में मदद मिलेगी और पटाखों के निर्माण में इस्तेमाल होने वाले एल्युमिनियम, बेरियम और आयरन की गुणवत्ता के नियमन और नियंत्रण में मदद मिलेगी। यह दिशानिर्देश तत्काल प्रभाव से लागू होंगे। जिला प्रशासन से अपने अधिकार क्षेत्र में मुनादी करवाकर इसका प्रचार सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है।
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